नयी दिल्ली । भारत ने जम्मू-कश्मीर के पुलवामा में हुए आतंकवादी हमले पर संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद (यूएनएससी) के बयान का स्वागत करते हुए शुक्रवार को कहा कि इससे पाकिस्तान पर उसकी जमीन से आतंकवादी गतिविधियों को अंजाम देने वाले आतंकवादियों और आतंकवादी संगठनों के खिलाफ कार्रवाई करने के लिए अंतरराष्ट्रीय दबाव बढ़ गया है।
विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता रवीश कुमार ने ट्वीट कर कहा, “संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद ने पुलवामा में कायरतापूर्ण आत्मघाती हमले की कड़ी निंदा की है। पाकिस्तान पर पुलवामा हमले के षडयंत्रकारियों और अपनी जमीन से आतंकवादी करतूतों को अंजाम दे रहे आतंकवादियों और आतंकवादी संगठनों के खिलाफ कार्रवाई करने के लिए अंतरराष्ट्रीय दबाव बढ़ गया है।” इस हमले में 40 जवान शहीद हो गए थे और इसकी जिम्मेदारी पाकिस्तान के आतंकी संगठन जैश-ए-मोहम्मद ने ली थी।
गौरतलब है कि सुरक्षा परिषद ने एक बयान जारी कर पुलवामा में केंद्रीय रिजर्व पुलिस बल (सीआरपीएफ) के काफिले पर हुए हमले की निंदा की है। परिषद ने इस हमले को जघन्य और कायराना करार देते हुए कहा कि सुरक्षा परिषद के सदस्यों के अनुसार अपराधियों, षडयंत्रकर्ताओं और उन्हें धन मुहैया कराने वालों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जरूरत है। उसने सभी देशों से अंतरराष्ट्रीय कानून और सुरक्षा परिषद के प्रासंगिक प्रस्तावों के तहत भारत सरकार के साथ सक्रिय सहयोग करने की अपील की।
संयुक्त राष्ट्र की 15 शक्तिशाली देशों की इस इकाई ने अपने बयान में जैश-ए-मोहम्मद का नाम भी लिया। परिषद ने कहा, “सुरक्षा परिषद के सदस्य 14 फरवरी 2019 को जम्मू-कश्मीर में जघन्य और कायरान तरीके से हुए आत्मघाती हमले की कड़ी निंदा करते हैं जिसमें भारत के अर्धसैनिक बल के 40 जवान शहीद हो गए थे और इस हमले की जिम्मेदारी जैश-ए-मोहम्मद ने ली थी।” बयान में आतंकवाद को अंतरराष्ट्रीय शांति और सुरक्षा के लिए गंभीर खतरों में से एक बताया गया है।