लखनऊ। विश्व हिन्दू परिषद ने कहा कि अयोध्या में राम मंदिर निर्माण के सारे रास्ते बंद हो गए हैं और एक ही मार्ग बचा है कि केन्द्र सरकार कानून बनाकर मंदिर निर्माण का मार्ग प्रशस्त करे।
विहिप ने मंदिर निर्माण के इस सिलसिले में संत धर्माचार्यों के नेतृत्व में 25 नवम्बर को अयोध्या में विराट धर्मसभा का आयोजन करेगा। इसमें सभी सामाजिक एवं धार्मिक संगठनों के प्रतिनिधि तथा रामभक्त हिस्सा लेंगे। उसी दिन 25 नवम्बर को ही नागपुर और बंगलूर में भी धर्मसभा का आयोजन होगा।
इसके अलावा नौ दिसम्बर को दिल्ली में धर्मसभा होगी। इन सभाओं में रामभक्त राम मंदिर निर्माण का संकल्प लेंगे। इन धर्मसभाओं में जगद्गुरू, महामण्डलेश्वर,धर्माचार्य और सभी मत पंथों के संत महंत शामिल होंगे।
संतों की अगुवाई में श्रीराम की जन्मभूमि पर शीघ्र ही मंदिर निर्माण के लिए सभी रामभक्त निश्चित स्थानों पर एकत्रित होकर हुंकार भरेंगे। वहीं नवम्बर माह में ही सभी जिलों में भी धर्मसभाएं होंगी।
विश्व हिन्दू परिषद अवध प्रान्त के संगठन मंत्री भोलेन्द्र ने शुक्रवार को यहां यह जानकारी दी। उन्होंने कहा कि उच्च न्यायालय ने दो मिनट में राम मंदिर की सुनवाई को टालकर हिन्दू समाज को उद्देलित करने का काम किया है।
उन्होंने कहा कि राम जन्मभूमि मसला देश के स्वाभिमान से जुड़ा मुद्दा है। उन्होंने कहा कि अगर अदालत 3 दिसम्बर 1992 के निर्णय को 12 दिसम्बर पर नहीं टालती तो 6 दिसम्बर को बाबरी विध्वंस नहीं होता।