अजमेर। भारत-पाकिस्तान 1971 युद्ध में भारतीय सेना की गौरवशाली जीत के पचास साल पूरे होने के अवसर पर स्वर्णिम विजय वर्ष के तहत राजस्थान के अजमेर पहुंची स्वर्णिम विजय मशाल को युद्ध में अपनी भूमिका निभाने वाले वीर चक्र से सम्मानित सेवानिवृत्त लेफ्टिनेंट कर्नल एनडी माथुर के हाथों में सौंपकर उन्हें सम्मानित किया गया।
विजय मशाल के लेफ्टिनेंट कर्नल माथुर के यहां पहुंचने पर यहां गरिमामय कार्यक्रम में अजमेर मीडियम रेजीमेंट के अधिकारियों ने विजय मशाल को माथुर के हाथों में सौंपा और उन्हें सम्मानित किया। इस मौके पर माथुर के घर आंगन की मिट्टी को कलश में संग्रहित कर ससम्मान नई दिल्ली भेजा जाएगा।
इससे पहले विजय मशाल वैशाली नगर क्षेत्र में पहुंची जहां उसकी अगवानी एवं स्वागत पूर्व शिक्षा मंत्री एवं विधायक वासुदेव देवनानी तथा उपमहापौर नीरज जैन ने किया। ये लोग भी यात्रा के साथ माथुर के निवास पर पहुंचे और सम्मान कार्यक्रम में शरीक हुए।
उल्लेखनीय है कि 76 वर्षीय लेफ्टिनेंट कर्नल माथुर भारत-पाकिस्तान युद्ध में 22 राजपूत बटालियन में कंपनी को कमान कर रहे थे। उनकी युद्ध में उल्लेखनीय भूमिका के लिए 15 दिसंबर 1971 को तत्कालीन राष्ट्रपति वीवी गिरी ने वीर चक्र से सम्मानित किया था।
उधर, स्वर्णिम विजय वर्ष के उपलक्ष्य में अजमेर के ही कुंदन नगर स्थित आर्मी कैंटोनमेंट परिसर में आयोजित कार्यक्रम में भारत पाकिस्तान युद्ध 1971 में शहीद चार सैन्यकर्मियों की वीरांगनाओं को सम्मानित किया गया। मीडियम रेजीमेंट के लेफ्टिनेंट कर्नल अंकुर तिवारी ने बताया कि चार वीरांगनाओं के अलावा पांच सेवानिवृतत सैनिकों को भी मेडल एवं शॉल से सम्मानित किया गया।