गांधीनगर। पूर्व मुख्यमंत्री शंकरसिंह वाघेला के पुत्र और पूर्व विधायक महेंद्रसिंह वाघेला ने आज कहा कि वह अपनी पिता की इच्छा के अनुरूप हाल में भाजपा में शामिल होने के अपने निर्णय के बारे अपने सभी समर्थकों के साथ चर्चा कर रहे हैं।
उन्होंने कहा कि उनके वापस कांग्रेस में लौटने का सवाल ही नहीं उठता और वह भाजपा में फिलहाल बने हुए हैं। महेन्द्रसिंह वाघेला ने कहा कि वह अपने पिता की इच्छा के अनुरूप समर्थकों से व्यक्तिगत तौर पर मिल कर उन्हें समझा रहे हैं।
उन्होंने कहा कि मै सबसे व्यक्तिगत रूप से सभी समर्थकों से मिल रहा हूं और उनसे चर्चा कर रहा हूं। इसमें एक सप्ताह से अधिक समय लग सकता है। मै सभी को भाजपा में शामिल होने के अपने निर्णय के प्रति राजी कर लूंगा। मेरे सभी अन्य साथी तो पहले से ही भाजपा में शामिल हो चुके हैं। अब कांग्रेस की तरफ वापसी तो असंभव है।
एक प्रश्न के उत्तर में उन्होंने कहा कि चूंकि उनके पिता 21 जुलाई को, जब उनके कथित अल्टीमेटम की अवधि पूरी हो रही है, अपने जन्मदिन पर विदेश में रहेंगे, इसलिए उनकी अनुपस्थिति में उनके जन्मदिन की कोई पार्टी आयोजित नहीं की जा रही।
ज्ञातव्य है कि पिछले साल अगस्त में हुए राज्यसभा चुनाव के दौरान अपने पिता और 12 अन्य कांग्रेस विधायकों के साथ पार्टी के खिलाफ बगावत का बिगुल फूंकने और बाद में पार्टी उम्मीदवार अहमद पटेल के विरोध में वोट डालने वाले जूनियर वाघेला, ने उसके बाद ही अमित शाह से मुलाकात की थी और भाजपा में शामिल होने की बात कही थी।
उनके अन्य 12 साथी पूर्व विधायक तो भाजपा में शामिल हो गए थे पर जन विकल्प मोर्चे की अगुवाई करने वाले शंकरसिंह वाघेला और उन्होंने ऐसा नहीं किया था। गत 14 जुलाई को वह अचानक अहमदाबाद में भाजपा में शामिल हो गए।
इसके बाद उनके पिता ने आनन फानन में संवाददाता सम्मेलन आयोजित कर उन्हें अल्टीमेटम दे दिया कि या तो वह अपने समर्थकों को विश्वास में लेकर भाजपा में ले जाएं अथवा एक सप्ताह के भीतर भाजपा छोड़ें।
ऐसा नहीं करने पर वह उनके साथ किसी तरह का राजनीतिक संबंध नहीं रखेंगे। उन्होंने बॉयड से विधायक रहे अपने बेटे पर भाजपा में शामिल होने के मामले में उनके समर्थकों को भरोसे में नहीं लेने का आरोप भी लगाया। इस बीच, माना जा रहा है कि महेन्द्रसिंह वाघेला को भाजपा आगामी लोकसभा चुनाव में उत्तर गुजरात के किसी सीट से उतार सकती है।