लखनऊ उत्तर प्रदेश के करीब पौने तीन करोड़ बिजली उपभोक्ताओं को सरकार ने तगड़ा झटका दिया है। पावर कारपोरेशन को घाटे से उबारने की कवायद के तहत काफी जद्दोजहद के बाद सरकार ने मंगलवार को बिजली की कीमतों में 15 फीसदी तक की बढोत्तरी कर दी है।
अधिकृत सूत्रों ने बताया कि उप्र विद्युत नियामक आयोग ने पावर कारपोरेशन के प्रस्ताव में मामूली फेरबदल कर आज शाम बिजली के दामों में 12 से 15 प्रतिशत की बढोत्तरी की है। इससे पहले पॉवर कारपोरेशन ने करीब 25 फीसदी बढ़ोतरी की मांग की थी। नियामक आयोग के फैसले के अनुसार शहरी क्षेत्र में बिजली दरों में 15 फीसदी की बढ़ोत्तरी की गयी है, वहीं औद्योगिक क्षेत्र में यह इजाफा 10 फीसदी का है।
इसके अलावा सरकार ने ग्रामीण इलाकों में फिक्स चार्ज 400 रुपये से बढ़ाकर 500 रुपए कर दिया है। विद्युत उपभोक्ताओं को अब तक लगने वाला रेगुलेटरी सरचार्ज 4.8 प्रतिशत को समाप्त कर दिया गया है, वहीं रेगुलेटरी असेट 11852 करोड़ का उपभोक्ताओं को फौरी तौर पर लाभ नहीं दिया गया है।
उन्होने बताया कि ग्रामीण अनमीटर्ड विद्युत उपभोक्ता जो पहले एक किलोवाट पर 400 रूपया देते थे अब उन्हें 500 रूपया देना पड़ेगा, जो फिक्स्ड चार्ज में 25 प्रतिशत की वृद्धि को दर्शाता है। ग्रामीण क्षेत्रों का अनमीटर्ड किसान जो 150 प्रति हार्सपावर अब उसे 170 प्रति हार्सपावर देना होगा यानी कि उसकी दरों में लगभग 14 प्रतिशत की बढोत्तरी की गयी है।
सूत्रों ने बताया कि शहरी क्षेत्र के गरीबों को भी बिजली का तगडा झटका दिया गया है। शहरी बीपीएल अब तक एक किलोवाट तक 100 यूनिट तक तीन रूपये प्रति यूनिट का भुगतान करना था अब उसे सीमित कर एक किलोवाट तक 50 यूनिट तक 3 रूपया सीमित कर दिया गया है यानी कि शहरी बीपीएल यदि 100 यूनिट खर्च करेगा तो उसकी दरों में लगभग 36 प्रतिशत से ज्यादा की वृद्धि कर दी गयी है।
हालांकि ग्रामीण क्षेत्रों में गरीबी रेखा के नीचे गुजर बसर कर रही आबादी के लिये फिलहाल 100 यूनिट तक तीन रूपये की दर रखी गयी है। इसी प्रकार प्रदेश के शहरी घरेलू विद्युत उपभोक्ताओं की दरों में लगभग स्लैबवाइज लगभग 12 प्रतिशत की वृद्धि की गयी है। उद्योगो की दरों 5 से 10 प्रतिशत की वृद्धि की गयी है।
उपभोक्ता परिषद के अध्यक्ष अवधेश वर्मा ने कहा कि बिजली कंपनियों के दवाब में लिया गया फैसला महंगाई से जूझ रही गरीब जनता की परेशानियो में इजाफा करेगा। परिषद पूरे टैरिफ का अध्ययन कर रहा है बहुत जल्द ही नियामक आयोग में एक रिव्यू याचिका दाखिल करेगा।