जयपुर। राजस्थान की राजधानी जयपुर के चाकसू थाना क्षेत्र में पुलिस ने मूक-बधिर का अपहरण कर जान से मारने का प्रयास करने के आरोप में पुलिस आज उसके छोटे भाई को गिरफ्तार किया।
पुलिस उपायुक्त जयपुर दक्षिण हरेन्द्र कुमार महावर ने बताया कि गत सात अप्रेल को चाकसू क्षेत्र में एक व्यक्ति के गम्भीर रुप से लहूलुहान अवस्था में लसाडिया के जंगल में पडे होने की सूचना एक चरवाहे से मिली। जिस पर पुलिस द्वारा घायल मूक-बधिर व्यक्ति को तुरन्त ही पहले सीएचसी चाकसू में भर्ती करवाया तथा फिर वहां से एसएमएस जयपुर में रैफर करने पर ट्रोमा सेन्टर जयपुर में भर्ती करवाया जाकर वारिसान की तलाश बाबत मुस्तहेरी जारी की गई।
सोशल मीडिया पर घायल व्यक्ति की तस्वीर जारी कर शिनाख्तगी के प्रयास किये गये। मजरुब व्यक्ति को घटना के दो-तीन दिन बाद होश आ जाने पर भी उसके मूक-बधिर होने के कारण वह अपने साथ घटित वारदात की जानकारी नहीं दे पाया।
सोशल मीडिया व इलेक्ट्रोनिक मीडिया के माध्यम से उसकी 10 अप्रेल को मुकबधिर मजरुब की पहचान सुरज्ञान मीणा निवासी नालावास थाना लालसोट जिला दौसा के रुप में हुई तथा उसकी पत्नी मंजू देवी के द्वारा अज्ञात व्यक्तियो द्वारा उसके पति का अपहरण कर उस पर जान लेवा हमला कर उसे घायल कर लसाडिया के जंगल में पटक देने की रिपोर्ट पेश की गई।
थानाधिकारी बलवीर कस्वां के नेतृत्व में गठित टीम ने अनुसंधान के बाद पीड़ित के छोटे भाई शंकर मीणा को नालावास गांव से पकडकर मनोवैज्ञानिक तरीके से गहनता पूर्वक पूछताछ की गई तो उसने सारी सच्चाई उगल दी।
तफ्तीश से सामने आया कि मुल्जिम शंकर मीणा अभी कुंवारा है, जिसकी अपने बडे भाई सुरज्ञान (मजरुब) की पत्नी मंजू देवी पर बुरी नजर थी तथा अपने भाई सुरज्ञान मीणा को मारकर उसकी पत्नी मंजू देवी से विवाह करना चाहता था। पुलिस मामले की जांच कर रही है।