सभा के प्रयासों से शीघ्र सिन्धी विश्वविद्यालय की स्थापना होगी
अजमेर। मातृभाषा के ज्ञान से सिन्ध के गौरवमयी इतिहास की जानकारी सरलता से होती है। भारतीय सिन्धु सभा राजस्थान की ओर से सिन्धी भाषा के शिक्षण के साथ संस्कार केन्द्रों का सफल संचालन कर रही है और राजस्थान में अलग अलग कोर्स करवाने के साथ महापुरूषों के बलिदान दिवस के कार्यक्रम, रथयात्राएं व सम्मेलन आयोजित कर युवाओं व मातृशक्ति को जोड रही है।
सभा के प्रयासों से शीघ्र सिन्धी विश्वविद्यालय की स्थापना होगी जिसके लिए केन्द्रीय नेतृत्व के साथ भारत सरकार से पत्राचार व चर्चा की जा रही है। यह बात सभा के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष महेन्द्र कुमार तीर्थाणी ने स्वामी सर्वानन्द विद्यालय में राष्ट्रीय सिन्धी भाषा विकास परिषद की ओर से आयोजित होने वाले अलग अलग कोर्स में डिप्लोमा/सर्टीफिकेट कोर्स की परीक्षा के शुभारंभ पर कही।
परीक्षा में विद्यार्थियों ने भाग लिया। पर्यवेक्षक महेश टेकचंदाणी व खूबचंद भागचंदाणी के साथ शिक्षक रितु गुरनाणी, भारती टेेकचंदाणी, कृष्णा नंदवाणी, कचंन पोपटाणी, प्रियंका पमनाणी, गुरूमित कोर, भाविका, मीनाक्षी सेवाणी, भावना चंचलाणी व मुकेश शर्मा सहयोगी रहे।
हेमू कालाणी के 80वें बलिदान दिवस पर देश भक्ति कार्यक्रंम
प्रदेश मंत्री (युवा) मनीष गुवालाणी ने बताया कि 21 जनवरी 2024 को राज्यभर की सभी ईकाईयों की ओर से हेमू कालाणी के 80वें बलिदान दिवस कार्यक्रम होंगे। पूर्व संध्या पर महाराजा दाहरसेन स्मारक पर दीपदान, सुबह प्रभात फेरियां, संगोष्ठियां, रक्तदान शिविर व देशभक्ति गायन के कार्यक्रम आयोजित किए जाएंगे। इनमें में युवा कार्यकर्ताओं के साथ शिक्षाविद्, साहित्यकार, पत्रकार व पंचायतों के सदस्य भी शामिल होंगे।
रंगभरो प्रतियोगिता का आयोजन
महानगर मंत्री महेश टेकचंदाणी ने बताया कि हेमू कालाणी के जीवन परिचय के फोल्डर, बैनर व ड्रांईग शीटों का विमोचन आज किया गया। महानगर में आठ स्थानों पर रगं भरो प्रतियोगिता का आयोजन किया जाएगा जिसके प्रभारी की जिम्मेदारी तय की गई है। प्रतियोगिता दो वर्गो कक्षा 6 से 8 व कक्षा 9 से 12 तक में आयोजित की जाएगी।
मातृ शक्ति सम्मेलन 2 व 3 मार्च को भीलवाडा में
महानगर अध्यक्ष (महिला) रूकमणी वतवाणी ने कहा कि राज्य स्तरीय मातृ शक्ति सम्मेलन आगामी 2 व 3 मार्च को हरी शेवा सनातन उदासीन आश्रम भीलवाडा में आयोजित किया जाएगा। सम्मेलन में महामण्डलेश्वर हंसराम उदासीन के साथ प्रदेश स्तरीय व केन्द्रीय पदाधिकारियों, संत महात्माओं का भी आशीर्वन प्राप्त होगा। मातृशक्ति सम्मेलन में अलग अलग सत्रों में समाज हित में संस्कार व सनातन धर्म जुडाव के कार्यक्रमों पर चर्चा कर निर्णय लिए जाएंगे। विद्वान पण्डित व पंचायत प्रमुखों के साथ सभा के पदाधिकारी भी सम्मिलित होंगे। सम्मेलन में समाज की गुरयाणी-मुख्याणी-नियाणी को जोडा जाएगा जिन्हें आमंत्रण के लिए पूर्व में ही पंजीयन कराया जाएगा।
समारोह में शिक्षाविद् डॉ. कमला गोकलाणी, घनश्याम ठारवाणी भगत, जयकिशन लख्याणी, हरकिशन टेकचंदाणी, किशन केवलाणी, नरेन्द्र सोनी, पुरूषोतम देवनाणी, कौशल्या सावलाणी, हरी चांदवाणी, दिशा किशनानी, सुनीता सहित कार्यकर्ता उपस्थित थे।