जयपुर : माहेश्वरी पब्लिक स्कूल के वार्षिकोत्सव में नन्हें बच्चों ने बांधा समां

जयपुर। राजधानी के जवाहर नगर स्थित माहेश्वरी पब्लिक स्कूल के तक्षशिला सभागार में गुरुवार को प्राइमरी वर्ग (कक्षा-1 से 5) का वार्षिकोत्सव समारोह, पुरस्कार वितरण व सांस्कृतिक कार्यक्रम के रूप में आयोजित हुआ। समारोह के मुख्य अतिथि व्यवसायी एवं समाजसेवी किशोर बंग, विशिष्ट अतिथि सीए अमित तोषनीवालथे।

कार्यक्रम का शुभारम्भ मुख्य अतिथि ने दीप प्रज्वलन कर किया। माहेश्वरी शिक्षा समिति व विद्यालय के चेयरमैन केदारमल भाला ने मुख्य अतिथि, विशिष्ट अतिथि व आगंतुकों का स्वागत व अभिनंदन किया। महासचिव शिक्षा मधुसूदन बिहानी ने दी एज्यूकेशन कमेटी ऑव द माहेश्वरी समाज (ईसीएमएस) के विज़न तथा मानद सचिव (सीए) अमित गट्टानी ने विद्यालय के विकास-कार्यों के बारे में बताते हुए विद्यालय परिसर में ही नए प्रोजेक्ट एमपीएस कल्चरल सेंटर के निर्माण का ज़िक्र किया।

उन्होंने बताया कि अत्याधुनिक बहु-उद्देश्यीय इस नए भवन में विद्यार्थियों को भारतीय कलाओं व संस्कृति की शिक्षा और कौशल प्रदान करने के साथ-साथ चिरप्रतीक्षित प्री प्राइमरी स्कूल भी संचालित किया जाएगा। विद्यार्थियों के सर्वांगीण विकास व शिक्षा के प्रसार के बारे में भावी योजनाओं की परिकल्पना प्रस्तुत की।

प्राचार्य अशोक वैद ने विद्यालय की वार्षिक उपलब्धियों की रिपोर्ट पेश की। मंचासीन मुख्य अतिथि, विशिष्ट अतिथि, प्रबंध समिति और प्राचार्य ने अनेक प्रतियोगिताओं एवं वर्ष भर आयोजित गतिविधियों में अव्वल रहे छात्रों को पुरस्कृत किया। मुख्य अतिथि व विशिष्ट अतिथि ने अपने उद्बोधन के माध्यम से शिक्षा समिति व विद्यालय की शिक्षा प्रणाली की प्रशंसा करते हुए छात्रों को अपने कौशलों का विकास करके समाज व देश की प्रगति में योगदान के लिए प्रोत्साहित व प्रेरित किया।

समारोह का मुख्य आकर्षण प्राथमिक नौनिहाल छात्र-छात्राओं द्वारा रंगारंग सांस्कृतिक प्रस्तुतियां रहीं। गणेश वन्दना के बाद नाट्य कथानक द मैजिकल ट्रांसफॉर्मेशन पर आधारित रहा, जिसमें एकल परिवार में बच्चों की टीवी, मोबाइल, इंटरनेट आदि पर निर्भरता से हानियाँ और संयुक्त परिवार की आवश्यकता का कथ्य प्रदर्शित किया गया।

इस थीम पर आधारित प्रस्तुतियों में कक्षा एक से पांच तक के नौनिहाल छात्र-छात्राओं के भारतीय-पाश्चात्य शैली के नृत्य, गायन आदि के साथ ही अन्तिम आकर्षक कड़ी के रूप में ऑर्केस्ट्रा (वाद्यवृंद) रहा जिसमें भारतीय व पाश्चात्य दोनों ही वाद्य-यंत्रों के माध्यम से मधुर ध्वनि-सौन्दर्य का प्रसार किया गया। प्राथमिक छात्र-प्रतिनिधि मयंक भारद्वाज व परिधि खण्डेलवाल ने सभी के प्रति धन्यवाद ज्ञापित किया। राष्ट्रगान के साथ ही कार्यक्रम का समापन हुआ।