अजमेर। नला बाजार स्थित रामद्वारा में आयोजित नानी बाई मायरा के दौरान श्रद्धालुओं को संबोधित करते हुए प्रज्ञा चक्षु संत ध्यानीराम महाराज ने कहा कि जो मनुष्य भगवान पर भरोसा करता है तो उसे सभी कार्य सफल होते हैं।
भक्त नरसी की कथा पर व्याख्यान करते हुए महाराज ने कहा कि जब जब संसार में भक्तों की परीक्षा ली जाती है या भक्तों पर विपत्ति आती है तो भगवान भक्त के मान की रक्षा करते हैं। और उनके कार्य को संभालते हैं और संसार में अपनी उपस्थिति दर्ज करते हैं।
नरसी भक्त और राजा द्वारा उन्हें बंदी बनाकर दरबार में लाने और सजा देने की बात कहने पर नरसी बड़े दुखी हो जाते हैं क्योंकि जब नरसी ने न्यात गंगा को जमाया तो गांव के कुछ लोगों ने जाकर राजा से कहा कि नरसी समाज में पाखंड फैला रहा है और आडंबर फैला रहा है।
इस पर राजा बड़ा रुष्ट हुआ और उसने नरसी को बंदी बनाकर कहा कि अगर तू सच्चा भक्त है तो भगवान बंद ताले में से तुम्हें आकर स्वयं माला पहनाएंगे। तब नरसी बड़े दुखी हुए और उन्होंने करताल लेकर भगवान से प्रार्थना की और भगवान के गुणानुवाद करने लगे।
आंखों में आंसू भरकर गाने लगे आओ महारा नटवर नागरिया…. इस प्रकार जब भक्त को भगवान ने दुखी देख तो वह स्वयं आकर माला के रूप में नरसी के गले में लिपट गए जब यह चमत्कार राजा ने देखा तो उन्होंने नरसी से क्षमा मांगी।
महाराज ने कहा सच्चे मन से बिना किसी लोभ लालच के संसार के विकारों से दूर रहकर जो अपने आराध्य देव की पूजा अर्चना करता है। वह जीवन में कोई भी कष्ट आने पर विचलित नहीं होता है। इसलिए अपने आराध्य देव पर सच्चा भरोसा रखो और उसकी पूजा अर्चना वंदना करो तभी आप संसार में सफल होंगे और आपके सारे दुखों का निवारण होगा।
भगवान विपत्ति आने पर ही अपने भक्तों की रक्षा करता है। उन्होंने भक्त नरसी की कथा का वर्णन करते हुए कहा कि जब भक्त नरसी ने राग केदार को गिरवी रखा और कहा कि भगवान मेरे पर आपकी कृपा होगी तो यह राग विपत्ति काल में आप मुझे स्वयं आकर दोगे। महाराज ने कहा कि भगवान प्रेम के भूखे हैं यह बात उन्होंने द्रौपदी, कबीर, विदुर आदि की कथाओं का उदाहरण देकर बताई। इस दौरान संत उत्तम राम शास्त्री ने भजनों की प्रस्तुति कर माहौल भक्ति में कर दिया। आज मुख्य जजमान सोनी परिवार ने पूजा अर्चना की और आरती के पश्चात श्रद्धालुओं को प्रसाद वितरण हुआ।