वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने शुरू की एनपीएस वात्सल्य योजना

नई दिल्ली। वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने केन्‍द्रीय बजट 2024-25 में की गई घोषणा के अनुसार बुधवार को यहां आयोजित एक कार्यक्रम में एनपीएस वात्सल्य योजना का शुभारंभ किया।

इस अवसर पर आयोजित कार्यक्रम में वित्त मंत्री ने वित्त राज्य मंत्री पंकज चौधरी और पेंशन फंड विनियामक और विकास प्राधिकरण के अध्यक्ष दीपक माेहंती की उपस्थिति में एनपीएस वात्सल्य की सदस्यता लेने के लिए एक ऑनलाइन प्लेटफॉर्म की शुरुआत की, योजना विवरणिका जारी की और नए नाबालिग ग्राहकों को स्थायी सेवानिवृत्ति खाता संख्या (पीआरएएन) कार्ड वितरित की। एनपीएस वात्सल्य कार्यक्रम पूरे देश में लगभग 75 स्थानों पर एक साथ आयोजित किए गए।

सीतारमण ने सरकार की विभिन्न पेंशन योजनाओं का उल्लेख करते हुए कहा कि अटल पेंशन योजना के तहत अब तक 39 हजार करोड़ रुपए से अधिक का संपदा प्रबंधन किया जा रहा है। इसी तरह से राष्ट्रीय पेंशन स्कीम (एनपीएस) के तहत 39 लाख करोड़ रुपए का संपदा प्रबंधन किया जा रहा है। उन्होंने लोगों से अपने औन अपने जानने वालों के बच्चों पर जन्मदिन के अवसर पर एक हजार रुपए का एनपीएस वात्सल्य उपहार के तौर पर देना चाहिए।

उन्होंने कहा कि सरकार बेटी पढाओ और बेटी बचाओ जैसे अभियान संचालित करती है उसी तरह से अन्य योजनाएं भी संचालित की जा रही है। सरकार हर वर्ग और हर आयु के लोगों को वित्तीय तौर पर सक्षम बनाने की दिशा में काम कर रही है। उन्होंने कहा कि एनपीएस वात्सल्य माता-पिता को पेंशन खाते में निवेश करके अपने बच्चों के भविष्य के लिए बचत करने के साथ दीर्घकालिक धन सुनिश्चित करने की अनुमति देता है।

एनपीएस वात्सल्य लचीला योगदान और निवेश का विकल्प प्रदान करता है, जिससे माता-पिता बच्चे के नाम पर सालाना 1,000 रुपए का निवेश कर सकते हैं, जिससे यह सभी आर्थिक पृष्ठभूमि वाले परिवारों के लिए सुलभ हो जाता है। यह नई पहल बच्चों के वित्तीय भविष्य को सुरक्षित करने के लिए शुरू की गई है, जो भारत की पेंशन प्रणाली में एक महत्वपूर्ण कदम है।

यह योजना पेंशन फंड विनियामक और विकास प्राधिकरण (पीएफआरडीए) के तहत चलाई जाएगी। एनपीएस वात्सल्य की शुरुआत सरकार की सभी के लिए दीर्घकालिक वित्तीय योजना और सुरक्षा को बढ़ावा देने की प्रतिबद्धता को दर्शाती है। यह भारत की भावी पीढ़ियों को अधिक वित्तीय रूप से सुरक्षित और स्वतंत्र बनाने की दिशा में एक बड़ा कदम है।

इस बीच निजी क्षेत्र के आईसीआईसीआई बैंक और एक्सिस बैंक ने पीएफआरडीए के साथ मिलकर अपनी अपनी शाखाओं के माध्यम से एनपीएस वात्सल्य बेचने का करार किया है।