चंडीगढ़। वर्ष 2009 में हरियाणा विधानसभा का चुनाव हारने से लेकर वर्ष 2024 में सात महीने के अंतराल में दो बार मुख्यमंत्री बनने तक नायब सिंह सैनी का राजनीतिक सफर काफी रोचक रहा है। गुरुवार को 54 वर्षीय सैनी ने 13 मंत्रियों के साथ हरियाणा के मुख्यमंत्री के पद की शपथ ली।
वर्ष 2009 में सैनी गृह जिले अंबाला के नारायणगढ़ विधानसभा हलके से वह पहली बार चुनाव लड़े थे और हार गए थे। पांच साल बाद 2014 में वह दोबारा इसी सीट से चुनाव लड़े और जीते। मोदी लहर में भाजपा की हरियाणा में पहली बार सरकार बनी थी और मनोहर लाल खट्टर को मुख्यमंत्री बनाया गया। बाद में उन्हें खट्टर सरकार में राज्य मंत्री भी बनाया गया।
वर्ष 2019 में भाजपा ने उन्हें कुरुक्षेत्र से लोकसभा चुनाव में उतारा और वह जीत कर सांसद बने। पिछले साल उन्हें पार्टी की हरियाणा इकाई के अध्यक्ष पद की जिम्मेवारी सौंपी गई। अचानक मार्च में भाजपा ने जब लोकसभा चुनाव से पूर्व जननायक जनता पार्टी से गठबंधन तोड़ा तो मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर ने मुख्यमंत्री पद से इस्तीफा दे दिया और भाजपा विधायक दल का नेता खट्टर के करीबी माने जाने वाले सैनी को चुना गया।
सैनी ने खट्टर की रिक्त की सीट करनाल से लोकसभा चुनावों के साथ हुआ उपचुनाव लड़ा और जीता। विधानसभा चुनावों में उन्होंने कुरुक्षेत्र जिले की लाड़वा सीट से चुनाव लड़ा और 16 हजार मतों के अंतर से जीता, यानी सैनी तीन अलग-अलग विधानसभा सीटों से चुनाव जीत चुके हैं।
राजनीतिक पर्यवेक्षकों के अनुसार भाजपा ने खट्टर को हटाकर सैनी को लाने का दांव 10 साल की सरकार की सत्ता विरोधी लहर की काट के तौर पर किया था। हालांकि पार्टी के वरिष्ठ नेता अनिल विज इससे नाराज भी हो गए।
विधानसभा चुनावों से पहले तमाम चुनावी पंडित और विपक्षी कांग्रेस भी भाजपा की हार के दावे कर रहे थे। पांच अक्टूबर को मतदान होने के बाद शाम को जारी तमाम एग्जिट पोल ने भी कांग्रेस की जीत की भविष्यवाणी कर दी। हालांकि, सैनी ने उसी दिन कह दिया था, एग्जिट पोल वालों ने कांग्रेस को दो दिन की खुशी दी है और आठ अक्टूबर को भाजपा की तीसरी बार सरकार बनेगी और कांग्रेस ईवीएम को दोष देगी।
हुआ भी यही, मतगणना में भाजपा 48 सीटों के साथ स्पष्ट बहुमत के 46 के आंकड़े को पार कर गई और कांग्रेस 37 सीटों पर सिमट गई। तीन निर्दलीय विधायकों ने भी भाजपा को समर्थन घोषित किया।
इस अप्रत्याशित जीत के साथ साफ हो गया कि सैनी तीसरी बार मुख्यमंत्री बनेंगे। वैसे भी पार्टी का शीर्ष नेतृत्व चुनाव के दौरान भी स्पष्ट कर चुका था कि सैनी के नेतृत्व में हरियाणा चुनाव लड़ा जा रहा है और वही पार्टी का मुख्यमंत्री पद का चेहरा हैं।