गुवाहाटी। असम के 24 जिलों में लगभग 12 लाख लोग बाढ़ का प्रकोप झेल रहे हैं, वहीं शनिवार को राज्य भर में इस प्राकृतिक आपदा में मरने वालों की संख्या 59 हो गई।
राज्य में बाढ़ के हालात में मामूली सुधार हुआ है, लेकिन अधिकारियों ने कहा कि आधा काजीरंगा राष्ट्रीय उद्यान डूबा हुआ है और 70 से अधिक जानवर मारे जा चुके हैं।
असम राज्य आपदा प्रबंधन प्राधिकरण (एएसडीएमए) ने शनिवार को कहा कि प्रदेश के 24 जिलों के 1,795 गांवों में 11,93,458 लोग बाढ़ की विभीषिका से जूझ रहे हैं।
प्रभावित जिलों में धीमाजी, बिस्वनाथ, लखीमपुर, सोनितपुर, दरांग, नलबारी, बरपेटा, बंगाइगांव, चिरांग, कोकराझार, धुबरी, सोपुथ सालमारा, गोलापारा, मोरीगांव, नागांव, कार्बी आंगलॉन्ग, गोलाघाट, जोरहाट मजुली, शिवसागर, चराईदेव, डिब्रूगढ़, करीमगंज तथा काचर जिला शामिल है।
एएसडीएमए की रिपोर्ट के मुताबिक, 66,516 हेक्टेयर से अधिक कृषि भूमि बाढ़ से प्रभावित हुई है। अधिकारियों के मुताबिक प्रभावित 25,000 से अधिक लोगों ने विभिन्न जिलों में सरकार द्वारा स्थापित 19 शिविरों में शरण ले रखी है।
काजीरंगा राष्ट्रीय उद्यान का 52 फीसदी हिस्सा शनिवार को पानी में डूबा हुआ था। वन विभाग तथा काजीरंगा राष्ट्रीय उद्यान के अधिकारियों ने बाढ़ के कारण उद्यान से बाहर आने वाले जानवरों पर नजर रखने के लिए अतिरिक्त बलों को तैनात किया है।
पार्क के अधिकारियों के मुताबिक इस साल बाढ़ में 70 से अधिक जानवरों की डूबने से मौत हो चुकी है। राज्य के कई हिस्सों में बाढ़ प्रभावित लोगों ने राहत सामग्री नहीं मिलने की शिकायत की है।