नई दिल्ली। मोदी सरकार की अपील को ध्यान में रखते हुए देश में अब तक करीब 14 लाख रसोई गैस उपभोक्ताओं ने गैस सब्सिडी छोड़ दी है। इस मामले में उत्तर प्रदेश शीर्ष स्थान पर है। यह जानकारी पेट्रोलियम एवं प्राकृतिक गैस राज्य मंत्री धर्मेन्द्र प्रधान ने लोकसभा में दी।
धर्मेन्द प्रधान ने बताया कि गत 28 जुलाई तक के आंकड़ों के अनुसार देश में रसोई गैस सब्सिडी छोड़ने वालों की कुल संख्या 13 लाख 86 हजार 885 तक पहुंच गई है, जिससे करीब दो अरब 21 करोड़ 90 लाख 16 हजार रूपए की बचत हुई है।
गैस सब्सिडी छोड़ने वालों में सर्वाधिक छह लाख 30,882 इंडियन ऑयल कॉरपोरेशन, तीन लाख 87 हजार 324 भारत पेट्रोलियम निगम तथा तीन लाख 68 हजार 679 उपभोक्ता हिन्दुस्तान पेट्रोलियम के उपभोक्ता शामिल हैं।
उन्होंने बताया कि सबसे अधिक उत्तर प्रदेश के दो लाख 45 हजार 319 उपभोक्ताओं ने रसोई गैस सब्सिडी छोड़ी है, जबकि दो लाख 26 हजार 663 उपभोक्ताओं के साथ महाराष्ट्र इस मामले में दूसरे स्थान पर है।
राजधानी दिल्ली में एक लाख 40 हजार 601 उपभोक्ताओं ने रसोई गैस सब्सिडी छोड़ी है और इस सूची में वह तीसरे स्थान पर है। तमिलनाडु में एक लाख एक हजार 354 उपभोक्ताओं ने गैस सब्सिडी छोड़ने का फैसला लिया है।
कम आबादी वाले राज्यों एवं केंद्र शासित प्रदेशों में भी गैस उपभोक्ताओं ने सब्सिडी छोड़ी है। लक्षद्वीप में 22, दादर एवं नागर हवेली में 218, अंडमान एवं निकोबार में 226 तथा अरूणाचल प्रदेश में 320 उपभोक्ताओं ने सब्सिडी का मोह छोड़ा है