नई दिल्ली। संसद के आगामी मानसून सत्र में लोकसभा और राज्यसभा में कम से कम 16 नए विधेयक पेश किए जाएंगे, जिनमें जम्मू एवं कश्मीर वस्तु एवं सेवा कर विधेयक और नागरिकता संशोधन विधेयक शामिल हैं।
नागरिकता संशोधन विधेयक के जरिए सरकार अवैध रूप से भारत में प्रवेश करने वाले विदेशी नागरिकों के एक खास वर्ग को भारतीय नागरिकता देना चाहती है। इसके अलावा सरकार की कोशिश राज्य सभा में 16 और लोकसभा में नौ पुराने विधेयकों को परित करवाने की होगी।
मानसून सत्र में पेश होने के लिए सूचीबद्ध प्रमुख विधेयकों का विवरण -:
1. जीएसटी से जुड़े विधेयक : जम्मू एवं कश्मीर में जीएसटी लागू करने से संबंधित दो विधेयक। इसके अलावा पंजाब नगर निगम कानून (चंडीगढ़ तक विस्तारित) संसोधन विधेयक-2017 भी पेश किया जाएगा, जिसमें चंडीगढ़ नगर निगम को मनोरंजन और क्रीड़ा पर जीएसटी के तहत कर लगाने का अधिकार दिए जाने का प्रावधान है।
2. बैंकिंग नियमन (संशोधन) विधेयक -: इस विधेयक का उद्देश्य भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) को बैंकों के बुरे ऋण के निपटान का निर्देश देने का अधिकार प्रदान करना है।
3. राष्ट्रीय जांच एजेंसी (संशोधन) विधेयक -: इस विधेयक के जरिए एनआईए के अधिकार क्षेत्र में वृद्धि, एनआईए की विशेष अदालतों में न्यायाधीशों की नियुक्ति प्रक्रिया को सरल बनाना और अनुसूचित अपराधों की जांच में खास तकनीकी के इस्तेमाल की इजाजत देना है।
4. गैर-कानूनी गतिविधियां (निरोधक) अधिनियम (संशोधन) विधेयक -: संशोधन कर ‘अदालत’ की परिभाषा में सुधार ताकि महनिदेशक (डीजी) और एनआईए को जांच के अधीन आतंकवादी मामलों में संबंधित संपत्ति को जब्त करने का अधिकार दिया जा सके।
5. नागरिकता (संशोधन) विधेयक -: इस विधेयक के जरिए सरकार अफगानिस्तान, बांग्लादेश और पाकिस्तान से अवैध तरीके से भारत आने वाले हिंदुओं, सिखों, बौद्धों, जैनियों, पारसियों और ईसाइयों को भारतीय नागरिकता प्रदान करना है।
6. भ्रष्टाचार निवारण (संशोधन) विधेयक -: इस विधेयक के जरिए रिश्वत देने को भी अपराध घोषित किया जाएगा।
7. भारतीय प्रबंधन संस्थान विधेयक -: इस विधेयक का उद्देश्य देश के मौजूदा 20 आईआईएम को स्वतंत्र वैधानिक दर्जा प्रदान करना है तथा उन्हें राष्ट्रीय महत्व के संस्थान घोषित करना है। इस विधेयक के पारित होने के साथ सभी आईआईएम अपने विद्यार्थियों को डिग्री प्रदान कर सकेंगे।
8. व्हिसल ब्लोअर संरक्षण (संशोधन) विधेयक -: यह विधेयक राज्य सभा में पारित होने के लिए अटका हुआ है। इसके अलावा निर्धारित 10 श्रेणियों के तहत आने वाली भ्रष्टाचार से संबंधित जानकारियों के खुलासे पर प्रतिबंध लगाया जाएगा।