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32 lakh students to appear in Rajasthan board exams 2017
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राजस्थान बोर्ड परीक्षा में 32 लाख विद्यार्थी बैठेंगे

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राजस्थान बोर्ड परीक्षा में 32 लाख विद्यार्थी बैठेंगे
32 lakh students to appear in Rajasthan board exams 2017
32 lakh students to appear in Rajasthan board exams 2017
32 lakh students to appear in Rajasthan board exams 2017

अजमेर। शिक्षा एवं पंचायती राज्यमंत्री प्रो. वासुदेव देवनानी ने कहा है कि राजस्थान माध्यमिक शिक्षा बोर्ड की परीक्षाओं से राज्य के 32 लाख परीक्षार्थियों का भविष्य और प्रदेश के एक करोड़ अभिभावकों की भावनाएं जुड़ी है। इसलिए यह परीक्षा आयोजन संवेदनशील है। इसमें छोटी सी चूक लाखों विद्यार्थियों के भविष्य को प्रभावित करती है।

राजस्थान बोर्ड 32 लाख परीक्षार्थियों के परीक्षा आयोजन के इस चुनौतीपूर्ण कार्य को अगले माह करने जा रहा है। यह परीक्षा विद्यार्थियों की नहीं अपितु शिक्षा विभाग की भी है और शिक्षा विभाग इसे मिशन परीक्षा के रूप में लें।

राजस्थान बोर्ड की परीक्षाओं की राष्ट्रव्यापी ख्याति है और प्रदेश के शिक्षकों का दायित्व है कि श्रेष्ठ बोर्डों में गिना जाने वाला राजस्थान बोर्ड देश का श्रेष्ठतम बोर्ड बने। प्रो. देवनानी गुरुवार को राजस्थान माध्यमिक शिक्षा बोर्ड के सभागार में बोर्ड की आगामी माह होने वाली 10वीं, 12वीं और आठवीं बोर्ड पात्रता परीक्षा के आयोजन के संबंध में राज्य के प्रारम्भिक और माध्यमिक विभाग के शिक्षा उपनिदेशकों, जिला शिक्षा अधिकारियों और डाइट प्राचार्यों की बैठक को सम्बोधित कर रहे थे।

उन्होंने कहा कि शिक्षा अधिकारियों की महत्ती जिम्मेदारी है कि वे प्रश्न-पत्रों की सुरक्षा को सर्वोच्च महत्व दे। प्रश्न-पत्रों को सुरक्षित रखना, उन्हें सुरक्षात्मक रूप से परीक्षा केन्द्र तक पहुंचना और उनका परीक्षार्थियों को वितरण भलीभांति हो। उन्होंने कहा कि बोर्ड परीक्षाओं के चलते विद्यालयों में अन्य कक्षाओं में अध्ययन बाधित न हो।

पिछले कुछ वर्षों में बोर्ड परीक्षाओं के दौरान प्रारम्भिक शिक्षा के शिक्षकों को बोर्ड परीक्षा के दौरान वीक्षक लगाने से ग्रामीण क्षेत्रों में अध्यापन बाधित होने की स्थिति उत्पन्न हुई थी, इसलिए इस वर्ष जहाँ तक संभव हो सेकेंडरी सेटअप के शिक्षकों को ही बोर्ड परीक्षा से जोड़ा जाए।

सरकार ने निर्णय लिया है कि बोर्ड परीक्षा के लिए स्कूली व्याख्याताओं और बोर्ड परीक्षाओं का अध्यापन कराने वाले शिक्षकों को बोर्ड में उत्तर पुस्तिकाओं का मूल्यांकन करना आवश्यक होगा। भले ही उनका बोर्ड में परीक्षक के रूप में पंजीयन न हो। कोई भी पात्र शिक्षक बोर्ड की उत्तरपुस्तिकाओं के मूल्यांकन से इन्कार करता है तो इसे गंभीरता से लिया जायेगा।

शिक्षामंत्री ने कहा कि राजस्थान में शिक्षा के विस्तार और गुणवत्ता की दृष्टि से पंचायत एज्यूकेशन ऑफिसर की नियुक्ति की जा रही है। मानव संसाधन विकास मंत्रालय ने राजस्थान के इस नवीन माडल को देश के अन्य राज्यों को भी अपनाने का सुझाव दिया है। उन्होंने कहा कि शिक्षा अधिकारी बोर्ड परीक्षा केन्द्रों को संवेदनशील मानकर चले। उड़नदस्तों में निष्पक्ष और योग्य व्यक्तियों को लगाया जाये।

परीक्षा में संवेदनशीलता को लेकर कहीं कोई कमी नजर आये तो प्रशासन को सूचित करे। उन्होंने उत्तरपुस्तिकाओं का मूल्यांकन करने वाले शिक्षकों का भी आह्वान किया कि विद्यार्थियों के भविष्य को दृष्टिगत रखते हुए मेहनत और गहनतापूर्वक उत्तरपुस्तिकायें जांचे। सूचना के अधिकार वाले इस युग में विद्यार्थी अपनी उत्तरपुस्तिका की छायाप्रति प्राप्त कर उसमें रही त्रुटि को जब समाज के सामने उजागर करेगा तो समूचे शिक्षक वर्ग की गरिमा को ठेस पहुँचेगी, ऐसी स्थिति से बचे।

बोर्ड के अध्यक्ष प्रो. बीएल चौधरी ने कहा कि राजस्थान बोर्ड ने इस वर्ष परीक्षाओं के संबंध में मोबाइल एप बनाया है। परीक्षा के दौरान इस एप के माध्यम से बोर्ड सभी केन्द्राधीक्षकों को आयोजित होने वाली परीक्षा का विषय, प्रश्न-पत्र के लिफाफे का कलर, परीक्षा का समय इत्यादि सूचित करेगा ताकि प्रश्न-पत्र लिफाफे खोलने में किसी प्रकार की गफलत न हो।

उन्होंने कहा कि इस वर्ष बोर्ड ने प्रायोगिक परीक्षाओं के आयोजन के प्रति कड़ा रूख अख्तियार किया है। परीक्षा मानकों से खिलवाड़ करने वाले दस परीक्षा केन्द्रों की परीक्षायें निरस्त कर दी गई और उनकी परीक्षायें भविष्य में राजकीय विद्यालयों के शिक्षकों के द्वारा ली जायेंगी। उन्होंने कहा कि बोर्ड मुख्य परीक्षाओं में भी किसी भी प्रकार की कोताही बर्दाश्त नहीं करेगा और छोटी चूक को भी गंभीरता से लिया जायेगा।

परीक्षा आयोजन की कड़ी में छोटी सी चूक से पूरी परीक्षा व्यवस्था चरमरा सकती है। बोर्ड की विशेषाधिकारी प्रिया भार्गव ने कहा कि बोर्ड इस वर्ष वीडियोग्राफी व्यवस्था को मजबूत करेगा। इसके तहत परीक्षा केन्द्र पर पेपर खोलने, परीक्षा संचालन, परीक्षा समाप्ति पर उत्तरपुस्तिका की पैकिंग तक की सम्पूर्ण व्यवस्था का फिल्मांकन किया जायेगा। बोर्ड के सभी उत्तरपुस्तिका संग्रहण एवं वितरण केन्द्र भी वीडियोग्राफी की जद में रहेंगे। उन्होंने कहा कि बोर्ड प्रति वर्ष वीडियोग्राफी पर भारी राशि व्यय कर रहा है। इसका उद्देश्य है कि परीक्षा आयोजन में कहीं कोई छोटी चूक न रह जाये। बोर्ड की वीडियोग्राफी सुरक्षा व्यवस्था के फिल्मांकन के साथ-साथ एक महत्वपूर्ण साक्ष्य का भी कार्य करती है।