जम्मू। सरकार में अपने सहयोगी भारतीय जनता पार्टी के कड़े विरोध को दरकिनार करते हुए राज्य की पीडीपी-भाजपा गठबंधन सरकार के मुखिया और सूबे के मुख्यमंत्री मुफ्ती मोहम्मद सईद ने अलगाववादी नेता मसकत आलम की रिहाई सुनिश्चित कर दी। जिसके बाद पिछले पांच सालों से जेल में बंद मसकत को शनिवार को रिहा कर दिया गया।
मुख्यमंत्री शपथ ग्रहण करने के बाद से साफ कर दिया था कि वह ऐसे सभी अलगाववादी नेताओं को रिहा कर देंगे जिनपर आपराधिक मामले नहीं हैं। बुधवार को पुलिस प्रमुख के साथ बैठक कर मुख्यमंत्री ने यह आदेश दिया था।
सरकार के इस फैसले पर जम्मू कश्मीर के डीजीपी के. राजेंद्र कुमार ने भी कहा, ‘राज्य की जेलों से राजनीतिक कैदियों की रिहाई पर सरकारी निर्देशों का पालन किया जाएगा।’ उनसे पूछा गया था कि राजनीतिक कैदियों की रिहाई की प्रक्रिया पुलिस स्तर पर शुरू हो चुकी है या नहीं। इस पर डीजीपी ने कहा, ‘सरकार की तरफ से आने वाले किसी भी निर्देश पर विचार किया जाएगा और उस पर काम किया जाएगा।’
माना जा रहा है कि इसके बाद अन्य अलगाववादी नेताओं को भी रिहा किया जा सकता है। भाजपा ने अभी तक मामले में चुप्पी नहीं तोड़ी है पर उनके नेता इसका दबी जबान में इस फैसले विरोध कर रहे हैं। इससे पीडीपी और भाजपा के बीच तनातनी भी बढ़ गई है।