गांधीनगर। गुजरात में तीन राज्यसभा सीटों के लिए मतदान के बाद करीब साढ़े नौ घंटे चला हाई वोल्टेज ड्रामे का देर रात कांग्रेस नेता अहमद पटेल की जीत के साथ पटाक्षेप हो गया।
कांग्रेस के दो बागी विधायकों द्वारा भाजपा नेताओं को मतपत्र दिखाने के बाद मचा बवाल चुनाव आयोग तक पहुंचा। आयोग ने दोनों के वोट खारिज कर दिए। इसके साथ ही पटेल की जीत का रास्ता साफ हो गया। बीजेपी अध्यक्ष अमित शाह व केंद्रीय मंत्री स्मृति ईरानी भी जीत गए हैं। शाह पहली बार संसद में पहुंचेंगे, जबकि पटेल 5वीं बार।
गडबडा गई थी कांग्रेस की गणित
राज्यसभा के लिए कुल 176 वोट पड़े थे, इनमें से चुनाव आयोग ने 2 मत खारिज कर दिए। राज्यसभा में एक सीट जीतने के लिए कुल 44 वोटो की दरकार थी। कांग्रेस प्रत्याशी अहमद पटेल को 44 वोट मिल गए। भाजपा 121 विधायकों के बल पर अमित शाह व स्मृति ईरानी को जिताने में कामयाब रही। उसके तीसरे प्रत्याशी बलवंत सिंह राजपूत आखिरकार अहमद पटेल से हार गए।
गोपनीयता उडाया माखौल
राज्यसभा चुनाव खुले पत्र के जरिए होते हैं।, लेकिन गोपनीयता बरकरार रहती है। मतदाता विधायकों को वोट देने के बाद मतपत्र अपनी पार्टी के अधिकृत एजेंट को दिखाना पड़ता है, लेकिन कांग्रेस के दो बागियों राघवजी भाई पटेल व भोला पटेल ने भाजपा नेताओं को मतपत्र दिखा दिए। उनकी यह गलती बीजेपी को भारी पड़ गई। बतादें कि कांग्रेस के सात बागियों के अलावा राकांपा के दो और जदयू के एकमात्र विधायक छोटू वसावा ने दूसरे दलों को वोट दिए। वहीं एक निर्दलीय सोमवार रात ही भाजपा में शामिल हो गए थे। मतदान के बाद वाघेला ने कहा कि कांग्रेस ने उन्हें पार्टी से निकाल दिया, इसलिए अपने अजीज मित्र अहमद पटेल को वोट देने का कोई मतलब नहीं है। कांग्रेस डूबती नाव है, अहमद पटेल चुनाव हारने वाले हैं इसलिए अपना वोट खराब नहीं करूंगा।
क्रास वोटिंग के बाद यूं चला ड्रामा
शाम 4 बजे वोटिंग के दौरान कांग्रेस के दो बागी विधायकों ने भाजपा अध्यक्ष अमित शाह को कथित रूप से वोट दिखाया।
शाम 5 बजे कांग्रेस के चुनावी एजेंट शक्ति सिंह गोहिल व अर्जुन मोढवाडिया ने तत्काल इसे मुद्दा बनाया। रिटर्निग अधिकारी व चुनाव आयोग को शिकायत की।
शाम 6 बजे दिल्ली में कांग्रेस के दिग्गज नेताओं ने शाम 6 बजे से 9 बजे के बीच तीन बार चुनाव आयोग पर दस्तक दी। दो बागियों के वोट रद करने की मांग की।
शाम 7 बजे भाजपा के नेता व केंद्रीय मंत्रियों की टीम भी कांग्रेस नेताओं के पीछे-पीछे तीन बार चुनाव आयोग पहुंची। तत्काल मतगणना की मांग की।
रात 10.30 बजे चुनाव आयोग ने घंटों बैठक के बाद रात 11.30 बजे शिकायत पर फैसले का वक्त तय किया। रात 11.30 बजे: चुनाव आयोग ने दोनों विधायकों के वोट रद कर मतगणना का आदेश दिया।
रात 1.45 बजे नतीजों का ऐलान किया गया।