वालेटा। माल्टा में पनामा पेपर्स से संबंधित भ्रष्टाचार को उठाने वाली पत्रकार की सोमवार को उनके घर के पास हुए कार विस्फोट में मौत हो गई। डाफ्ने कारुआना गालिजिया की सोमवार को उस वक्त मौत हो गई जब उनकी कार प्यूजो 108 को एक शक्तिशाली विस्फोटक द्वारा उड़ा दिया गया।
कारुआना गालिजिया को हाल ही में अमेरिकी समाचार संस्था पॉलिटिको द्वारा ‘वन-वोमेन विकीलीक्स’ के रूप में वर्णित किया गया था। कहा जाता है कि वह एक ऐसी ब्लॉगर थीं जिनकी पोस्ट को देश में सभी समाचारों को मिलाकर जितनी प्रसार संख्या बनती है, उससे भी अधिक लोगों द्वारा पढ़ा जाता था।
उनके नए खुलासे ने माल्टा के प्रधान मंत्री जोसेफ मस्कट और उनके दो सबसे करीबी सहयोगियों पर आरोप लगाया था। खुलासे में तीन व्यक्तियों को बाहरी कंपनियों से जोड़ा गया और कहा गया कि वे माल्टा के पासपोर्ट को बेच रहे थे और उनको अजरबैजान सरकार की ओर से भुगतान किया जा रहा था।
द गार्डियान के अनुसार किसी संगठन और व्यक्ति ने इस हमले की जिम्मेदारी नहीं ली है। माल्टा की राष्ट्रपति मैरी-लुईस कोलिरो प्रेका ने कहा कि ऐसे क्षण में जब देश इस तरह के घातक हमले से हैरान है, मैं सबसे आग्रह करती हूं कि अपने शब्दों पर विचार करें, कोई निर्णय ना दें और एकजुटता दिखाएं।
एक बयान में मस्कट ने इस बर्बर हमले की निंदा की है। उन्होंने कहा कि सब जानते है कि कारुआना गालिजिया राजनीतिक और व्यक्तिगत, दोनों ही रूप से मेरी आलोचक थी। लेकिन, कोई भी इस बर्बर कृत्य का औचित्य साबित नहीं कर सकता है।
उन्होंने सोमवार को संसद में घोषणा की कि अमरीकी सरकार से मदद के अनुरोध के बाद, फेडरल ब्यूरो ऑफ इन्वेस्टिगेशन (एफबीआई) के अधिकारी जांच में सहायता के लिए माल्टा आ रहे हैं।
स्थानीय मीडिया की रिपोटरें के अनुसार, कारुआना गालिजिया ने 15 दिन पहले पुलिस रिपोर्ट दर्ज कराई थी जिसमें उन्होंने कहा कि उन्हें मौत की धमकी मिल रही है।
पत्रकार ने वेबसाइट पर सोमवार को अपरान्ह 2.35 बजे अपना अंतिम ब्लॉग पोस्ट किया और 3 बजे पुलिस को उनके घर के पास विस्फोट होने की सूचना मिली।