इस्लामाबाद। पाकिस्तान ने शनिवार को भारत की ओर से पाकिस्तानी नागरिकों को 1 से 8 जनवरी के बीच हजरत ख्वाजा निजामुद्दीन औलिया के उर्स के मौके पर वीजा जारी न करने पर खेद जताया है।
विदेश कार्यालय ने बयान में कहा कि यह दौरा 1974 भारत-पाकिस्तान के धार्मिक स्थलों के दौरे के लिए बने प्रोटोकोल के अंतर्गत होने वाला था जिसके तहत लगातार वार्षिक आधार पर धार्मिक स्थलों के दौरे होते थे।
बयान के अनुसार वीजा जारी न करना दुर्भाग्यपूर्ण और पत्र व 1974 के प्रोटोकोल तथा लोगों के परस्पर संपर्क के भावना के विरुद्ध है।
विदेश कार्यालय ने यह भी कहा कि इस वर्ष की शुरुआत में पाकिस्तान की ओर से विशेष रेल भेजने के प्रस्ताव के बावजूद भारत ने देरी की, जिससे भारत के सिख श्रद्धालु गुरु अर्जन देव के शहादत दिवस और महाराजा रंजीत सिंह के पुण्यतिथि के अवसर पर शामिल नहीं हो सके।
पाकिस्तान की तरफ से यह बयान ऐसे समय आया है जब कथित भारतीय जासूस कुलभूषण जाधव और उनके परिजनों के बीच इस्लामाबाद में मुलाकात करवाने के तरीकों पर भारत की ओर से सवाल उठाए जा रहे हैं।