लंदन। जून में ब्रिटेन में इस बात को लेकर मत डाले जाएंगे की क्या देश को यूरोपिय संघ से अलग हो जाना चाहिए। प्रधानमंत्री डेविड कैमरन इसके खिलाफ हैं तो वहीं लंदन के मेयर अलग होने के समर्थन में हैं और उन्होंने प्रधानमंत्री के इतराज़ के बावजूद अलग होने के पक्ष में अभियान भी शुरु कर दिया है।
केमरन और जॉनसन दोनों ही सत्ताधारी कंजरवेटिव पार्टी के नेता हैं। जॉनसन का कहना है कि शुक्रवार को यूरोपिय संघ के साथ हुए समझौते में प्रधानमंत्री बुनियादी बदलाव लाने में नाकामयाब साबित हुए हैं।
माना जाता है कि जॉनसन कैमरुन का स्थान लेने की महत्वकांक्षा रखते हैं। अपने भाषण में वह कहते हैं कि उन्हें यूरोपिय संस्कृति, सभ्यता और भोजन पसंद है लेकिन यूरोप को एक करने का लक्ष्य अपने मार्ग से भटक गया है।
जॉनसन का कहना है कि कैमरुन देशवासियों के लिये कोई बेहतर समझौता नहीं करा पाए ताकि उनकी धन की रक्षा की जा सके।
उल्लेखनीय है कि ब्रसेल्स में 2 दिन और रात के गहन विचार विमर्श के बाद सर्वसम्मति से यूरोपिय देशों के नेताओं के बीच एक समझौता हुआ, जिसमें संघ की भविष्य की नीति तय की गई।
समझौते के बाद शनिवार को ब्रिटेन के प्रधानमंत्री डेविड कैमरन ने कहा था कि ब्रिटेन यूरोपीय संघ में रहने के मुद्दे पर 23 जून को जनमत संग्रह करेगा। कैमरन ने यूरोपीय संघ को लेकर अपनी डील के बारे में कैबिनेट मंत्रियों से विचार करने के बाद ऐतिहासिक घोषणा की थी।
उन्होंने मंत्रियों को बताया कि वह सुधारों के साथ यूरोपीय संघ में रहने की सिफारिश करेंगे। ब्रिटेन के प्रधानमंत्री डेविड कैमरन ने मैराथन शिखर सम्मेलन के बाद ईयू में विशेष दर्जा पाने के लिए समझौता किया है।
इसके साथ ही कैमरन ऐतिहासिक जनमत संग्रह के दौरान ब्रिटेन के संघ में बने रहने के लिए प्रचार करेंगे। यूरोपीय नेता उन सभी अहम सुधारों को न मानने पर अड़े हुए थे, जिनकी कैमरन ने मांग की है।