मुंबई। महाराष्ट्र सदन घोटाला मामले में 11 घंटे की पूछताछ के बाद ईडी ने सोमवार रात एनसीपी के वरिष्ठ नेता और प्रदेश के पूर्व डिप्टी सीएम छगन भुजबल को मनी लॉन्ड्रिंग एक्ट की धारा 19(A) के तहत अरेस्ट कर लिया।
रात को उन्हें प्रवर्तन निदेशालय के कार्यालय में रखा जाएगा। सुबह मेडिकल जांच के बाद कोर्ट में पेश किया जाएगा। उनके भतीजे समीर भुजबल को इसी मामले में पहले ही अरेस्ट किया जा चुका है।
मनी लॉन्ड्रिंग मामले में भुजबल को प्रवर्तन निदेशालय ने पूछताछ के लिए बुलाया था। दक्षिण मुंबई में बल्लार्ड पीयर स्थित प्रवर्तन निदेशालय के कार्यालय में करीब 11 घंटे लंबी हुई पूछताछ के बाद देर रात यह खबर बाहर आई की उन्हें अरेस्ट कर लिया गया है। भुजबल से जब ईडी कार्यालय में पूछताछ की जा रही थी तो बाहर बड़ी संख्या में पार्टी कार्यकर्ता मौजूद थे और नारे लगा रहे थे। किसी अवांछित घटना से बचने के लिए निषेधाज्ञा लगाई गई थी।
ईडी ने पीएमएलए के तहत एक मामला दर्ज किया है जिसमें भुजबल तथा उनके कुछ सहयोगियों के खिलाफ जांच की जा रही है। इस मामले में पूर्व मंत्री के भतीजे समीर को बीते माह अरेस्ट किया गया था। समीर कड़ी सुरक्षा वाली आर्थर रोड जेल में बंद है। इसी मामले में बीते माह भुजबल के बेटे पंकज से भी ईडी ने पूछताछ की थी।
मुंबई पुलिस की एफआईआर के आधार पर ईडी ने दिल्ली के महाराष्ट्र सदन निर्माण घोटाले और कलीना भूमि हड़पने के मामले में पीएमएलए के प्रावधानों के तहत भुजबल और अन्यों के खिलाफ दो मामले दर्ज किए हैं। ईडी ने धन शोधन कानूनों के तहत इस मामले में तीन संपत्तियों की कुर्की का आदेश भी हासिल कर लिया है। इन संपत्तियों की अनुमानित कीमत 280 करोड़ रूपये से अधिक है।
राज्य के भ्रष्टाचार निरोधक ब्यूरो ने छगन भुजबल, पंकज, समीर और 14 अन्य के खिलाफ महाराष्ट्र सदन घोटाला मामले में एक आरोपपत्र दाखिल कर दिया है। नए महाराष्ट्र सदन का निर्माण 100 करोड़ रूपए की लागत से किया गया था और तब महाराष्ट्र में कांग्रेस-राकांपा गठबंधन की सरकार थी।