पटियाला। दहेज के लिए अपनी 21 साल की बहू को जलाकर मारने के दोषी गांव ढीलवाल के अकाली सरपंच अमरीक सिंह, उसकी पत्नी व दोनों बेटों को सोमवार को अदालत ने उम्रकैद की सजा सुना दी। दोषियों पर 50-50 हजार रुपए जुर्माना भी लगाया गया है।
वारदात चार मार्च 2014 की है। उस दिन 21 साल की उपिंदरजीत कौर रसोई में काम कर रही थी। दोषी ससुर गांव ढीलवाल का अकाली सरपंच अमरीक सिंह, पति गुरविंदर सिंह, देवर जसप्रीत सिंह, सास मनजीत कौर ने उस पर मिट्टी का तेल डालकर मारने की नीयत से आग लगा दी। गंभीर हालत में विवाहिता को पहले पटियाला के एक प्राइवेट अस्पताल में दाखिल कराया गया।
जहां से उसे पी.जी.आई. चंडीगढ़ ले जाया गया। पी.जी.आई. में इलाज के दौरान उपिंदरजीत कौर की मौत हो गई थी। दोषियों के खिलाफ मरने से पहले विवाहिता उपिंदरजीत कौर ने एडिशनल चीफ जुडीशियल मैजिस्ट्रेट के पास अपने बयान भी दर्ज कराए थे। इसमें उसने आरोप लगाया था कि शादी के बाद से उसे दहेज के लिए तंग परेशान किया जा रहा था।
करीब 14 माह पहले उसकी गुरविंदर सिंह से शादी हुई थी और तीन माह का उसका एक बच्चा भी था। बाद में पुलिस ने सभी दोषियों के खिलाफ विभिन्न धाराओं में केस दर्ज कर लिया गया था लेकिन पुलिस की ओर से आरोपियों की गिरफ्तारियां नहीं की जा रही थी। इसके विरोध में विवाहिता के परिवार वालों ने पटियाला में प्रदर्शन भी किया था।
इसके बाद पुलिस मामले में हरकत में आई थी। केस में एडिशनल सेशन जज एचके सिद्धू की अदालत ने सभी आरोपियों को 30 मार्च को दोषी करार दे दिया था। सोमवार को सभी दोषियों को उम्रकैद की सजा सुनाई गई। साथ ही सभी पर 50-50 हजार रुपए जुर्माना भी लगाया गया।