मुंबई। बाबा रामदेव के कंपनी पतंजलि के मैगी को बाजार में उतरने के लिए सरकार पर सहयोग करने का आरोप विपक्ष ने लगाया है विपक्ष ने नेस्ले की मागी के तर्ज पर बाबा रामदेव के पतंजलि की मैगी पर भी बैन लगाने की मांग की।
मंगलवार को विधान परिषद् में विपक्ष नेता धनंजय मुंडे तथा कांग्रेस के सदस्य मानिकराव ठाकरे आक्रामक होते हुए सरकार पर बाबा रामदेव को बढ़ावा देने का आरोप सरकार पर लगाया।
सदन में नियम 289 के तहत उपस्थित मुद्दे में कांग्रेस सदस्य मानिकराव ठाकरे ने कहा की जिस प्रकार से नेस्ले के मैगी में शीशा का मात्र अधिक पायें जाने पर उसके वितरण पर बैन लगा दिया। नेस्ले की मैगी की जांच की गई और उसमे निर्धारित शीशा की मात्र अधिक पाया गया था। जिसके बाद सरकार ने सकहत होते हुए उस पर प्रतिबन्ध लगाया।
कंपनी ने अपनी गलती मानते हुए बाजार में बिक चुके मैगी को वापस मंगवाया। नेस्ले की मैगी को जितना परिक्षण और कसौटि का सामना करना पड़ा है उतना बाबा रामदेव के पतंजलि समूह के मैगी को नहीं करना पड़ा है।
सरकार को बाबा के मैगी का भी उसी प्रकार से जांच करना चाहिए। जिसके बाद विपक्ष नेता धनंजय मुंडे ने इस मामले में बोलते हुए कहा की सरकार पक्षपात कर रही है।
बाबा रामदेव के मैगी को बाजार में उतरने के लिए क्या यह साजिस की गई थी। आखिर बाबा रामदेव के मैगी की जांच क्यों नहीं की गई। इस मामले पर कांग्रेस सदस्य संजय दत्त ने कहा की यह सरकार के सोची समझी साजिस का नतीजा है।
जब एक कंपनी को इस कसौटी से गुजरना पड़ा है तो दूसरी कंपनी कोई छुट क्यों। सरकार का स्वार्थ इस मामले में साबित होता है। जैसे नेस्ले की मैगी के साथ जांच हुआ है उसी प्रकार से बाबा के मैगी का भी जांच होना चाहिए। जबतक जांच नहीं होती है तबतक बाबा रामदेव के मैगी को बाजार में उतरने की अनुमति नहीं देना चाहिए था।