मेरठ। सेंट जोंस सीनियर सेकेंडरी स्कूल की छात्रा को अश्लील मैसेज भेजने वाले मामले में बुधवार को नया मोड सामने आ गया।
राष्ट्रीय ईसाई मच के बैनर तले स्कूल पक्ष की ओर से दर्जनों लोग डीएम कार्यालय पहुंचे और मामले की सही व निष्पक्ष जांच की मांग की।
राष्ट्रीय ईसाई मंच के अध्यक्ष रोबिन नाथ उर्फ गोलू भाई ने बताया कि कॉलेज प्रबंधन के अनुसार गत 10 सितंबर 2015 को ही आरोपी शिक्षक को स्कूल से निकाल दिया गया था। इस मामले में कॉलेज प्रशासन की ओर से कोई गलती नहीं हुई।
उन्होंने कहा कि एडमिशन का समय निकलने के बाद एडमिशन के लिए यह छात्रा पक्ष की ओर से दवाब बनाया जा रहा है। उन्होंने कहा कि इस तरह की पुनरावृति न हो, इसके सहीं व निष्पक्ष जांच होनी बहुत आवश्यक है।
साथ ही उन्होंने यह भी मांग रखी कि अगर यह प्रकरण झूठा निकला तो शिकायत कर्ताओं के खिलाफ भी कार्यवाही होनी चाहिए। प्रदर्शनकारियों में दर्जनों महिलाएं व पुरूष शामिल रहे।
यह है मामला
बतादे कि कंकरखेड़ा निवासी एक नाबालिग सेंट जोंस स्कूल में कक्षा दस की छात्रा है। आरोप है कि पिछले कई माह से स्कूल की टीचर मुकुल शंकर छात्रा को फेसबुक और व्हाटस अप पर अश्लील मैसेज भेज रहा था। छात्रा के पिता ने कुछ दिन पूर्व आरोपी के खिलाफ सदर थाने में मुकदमा दर्ज कराया, जिसके बाद स्कूल प्रबंधन आरोपी शिक्षक के बचाव में उतर आया।
हालांकि स्कूल की प्रधानाचार्या चंद्रलेखा जैन का दावा था कि पीडि़ता के परिजनों की शिकायत करते हुए आरोपी को कई माह पूर्व ही स्कूल से निकाला जा चुका है। इसके बावजूद भी छात्रा के परिजन बिना किसी कारण के स्कूल को बदनाम करने की साजिश कर रहे है।