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अगस्ता वेस्टलैंड घोटाला : आरोपियों को सज़ा देने के लिए केन्द्र प्रतिबद्द - Sabguru News
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अगस्ता वेस्टलैंड घोटाला : आरोपियों को सज़ा देने के लिए केन्द्र प्रतिबद्द

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अगस्ता वेस्टलैंड घोटाला : आरोपियों को सज़ा देने के लिए केन्द्र प्रतिबद्द

AgustaWestland scam : Modi govt will punish all accused

नई दिल्ली। केंद्र सरकार ने गुरुवार को साफ-साफ शब्दों में कहा कि अगस्ता वेस्टलैंड हेलीकाप्टर मामले में मुख्य मुद्दा भ्रष्टाचार का है और वह इस विषय में सच को बाहर निकालने और भ्रष्ट लोगों को सजा देने में कोई कसर नहीं छोड़ेगी।

रक्षा मंत्रालय ने एक बयान में कहा गया कि इस प्रकरण में अधिक समय इसलिए लग रहा है क्योंकि इस ‘मामले’ के प्रमुख अपराधियों में से कुछ देश से बाहर हैं। कुछ लोगों ने भ्रष्टाचार के मूल मुद्दे से ध्यान हटाने के इरादे से तुच्छ तकनीकी सवाल उठाए गए हैं।

बयान में कहा गया है केंद्रीय जांच ब्यूरो (सीबीआई) और प्रवर्तन निदेशालय प्रत्येक पहलू से इस मामले की जांच कर रहे हैं। इनमें तीन विदेशियों की गिरफ्तारी या प्रत्यर्पण भी हो सकते हैं।

धनशोधन रोकथाम और भ्रष्टाचार निरोधक अधिनियम के अंतर्गत दिसंबर 2015 और जनवरी 2016 में इंटरपोल के माध्यम से रेड कॉर्नर नोटिस जारी किए गए थे । क्रिस्चियन मिशल जेम्स के प्रत्यर्पण के लिए भी अनुरोध किया गया है और प्रवर्तन निदेशालय ने एक भारतीय को भी गिरिफ्तार किया है।

रक्षा मंत्रालय ने कहा कुछ वर्गों में विशेष प्रकार की तुच्छ तकनीकी शब्दावलियों को लेकर प्रश्न उठाए गए हैं जिनका स्पष्ट उद्देश्य भ्रष्टाचार के मूलभूत मामले से ध्यान हटाना मालूम पड़ता है।

एक स्पष्टीकरण में रक्षा मंत्रालय ने कहा कि 12 हेलिकाप्टरों की आपूर्ति के लिए 8 फरवरी, 2010 को एडब्ल्यूआईएल के साथ समझौते पर हस्ताक्षर किए गए थे जिसे 1 जनवरी, 2014, से रद्द कर दिया गया।

इसका मुख्य कारण संविदा-पूर्व एकीकरण समझौते के प्रावधानों तथा एडब्ल्यूआईएल के साथ समझौते की शर्तों का उल्लंघन था। हालांकि उक्त आदेश के द्वारा कंपनी पर रोक नहीं लगी। विभिन्न बॉन्ड और बैंक गारंटियां सरकार ने अपने हाथ में ले लीं।

तत्कालीन सरकार ने ही 3 जुलाई, 2014, के अपने आदेश के माध्यम से सीबीआई द्वारा दर्ज प्राथमिकी में नामित 6 कंपनियों यथा- मैसर्स अगस्ता वेस्टलैंड इंटरनेशनल लिमिटेड, ब्रिटेन, मैसर्स फिनमेकानिका, इटली, और उसकी अनुषंगी व संबंद्ध कंपनियों सहित कंपनी समूह, मैसर्स आईडीएस, ट्यूनिशिया, मैसर्स इंफोटेक डिजाइन सिस्टम (आईडीएस), मॉरिशस, मैसर्स आईडीएस इंफोटेक लिमिटेड, मोहाली और मैसर्स एयरोमैट्रिक्स इंफो सोल्यूशन प्राइवेट लिमिटेड, चंडीगढ़- के सभी प्रस्तावित खरीद/अधिग्रहण के मामलों पर रोक लगा दी।

इसके बाद से वर्तमान सरकार के कार्यकाल में इन कंपनियों से किसी तरह की नई पूंजीगत खरीद नहीं की गई। विदेशी निवेश संवर्धन बोर्ड द्वारा अगस्‍ता वेस्‍टलैंड से संबंधित एक संयुक्‍त उद्यम को मंजूरी का उल्लेख किया गया है।

टाटा सन्स और अगस्‍ता वेस्‍टलैंड एन वी, नीदरलैंड के संयुक्त उद्यम इंडियन रोटरक्राफ्ट लिमिटेड के एक आवेदन के आधार पर इस प्रस्ताव को 2 सितंबर, 2011 को मंजूरी दी गई। समूह के भीतर पुनर्गठन की वजह से इसे बाद में अगस्‍ता वेस्‍टलैंड एसपीए इटली में परिवर्तित कर दिया गया ।

7 फरवरी, 2012 को औद्योगिक नीति एवं संवर्धन विभाग द्वारा इंडियन रोटरक्राप्ट लिमिटेड को हेलिकाप्टरों के निर्माण के लिए औद्योगिक लाइसेंस प्रदान किया गया। हालांकि, इस लाइसेंस की वैधता समाप्त हो चुकी है।

रक्षा मंत्रालय ने कहा भ्रष्टाचार के मूलभूत मुद्दे पर संबंधित एजेंसियां सीबीआई और प्रवर्तन निदेशालय तीन विदेशियों की गिरफ्तारी और प्रत्यर्पण सहित जांच के सभी पहलुओं का जोरशोर से अनुसरण कर रही हैं।

दिसंबर 2015 और जनवरी 2016 को मनी लॉड्रिंग निवारण अधिनियम और भ्रष्टाचार अधिनियम के अंतर्गत इंटरपोल के माध्यम से रेड कार्नर नोटिस जारी किए गए। प्रवर्तन निदेशालय ने एक भारतीय को गिरफ्तार किया और भारतीय नागरिकों तथा एक विदेशी, क्रिस्चन माइकल जेम्स, की लगभग 11 करोड़ रुपए की संपत्ति को कुर्क कर लिया।