नई दिल्ली। कालाधन रखने वालों को वित्त मंत्रालय ने कड़ी चेतावनी देते हुए कहा है कि जो भी कालेधन को सफेद करने में लगा है उसे बख्शा नहीं जाएगा। प्रवर्तन एजेंसियां इस तरह के धन का पता लगाने में लगी हुई हैं।
वित्त मंत्रालय में आर्थिक मामलों के सचिव शक्तिकांत दास ने ट्वीट कर लोगों को आगाह किया। उन्होंने कहा, ‘प्रवर्तन एजेंसियां इस तरह के धन के स्रोत तक पहुंचने में लगी हैं और आपस में समन्वय के जरिये यह काम कर रही हैं। इसके परिणाम दिखने भी लगे हैं और आने वाले दिनों में यह और स्पष्ट होंगे।’
सरकार ने कालेधन और आतंकवादियों को धन पहुंचाने की गतिविधियों पर अंकुश लगाने के लिए आठ नवंबर की मध्यरात्रि से 500 और एक हजार रुपये के पुराने नोटों को अमान्य करने कर दिया। सरकार ने इसके बाद 29 नवंबर को लोकसभा में कराधान कानून (दूसरा संशोधन) विधेयक 2016 भी पारित किया है, जिसमें नोटबंदी के बाद बैंक खातों में जमा राशि पर कर लगाने का प्रावधान किया गया है।
संसद के चालू शीतकालीन सत्र में यह पहला विधायी कार्य हुआ है। नोटबंदी के बाद लगातार विपक्षी दलों के विरोध की वजह से संसद के चालू सत्र में कोई कामकाज नहीं हो पाया। कराधान संशोधन कानून में नोटबंदी के बाद बैंक खातों में जमा अघोषित राशि पर 50 प्रतिशत की दर से कर, जुमार्ना और अधिभार लगाये जाने का प्रावधान किया गया है।
इसके अलावा ऐसा धन जिसकी जानकारी नहीं दी जाती है और आयकर तलाशी में उसे पकड़ा जाता है उस पर कर, जुर्माना और अधिभार सहित 85 प्रतिशत तक कर वसूला जाएगा। वित्त मंत्री अरुण जेटली ने कहा है कि यह विधेयक इस तरह की रिपोर्ट सरकार के पास आने के बाद लाया गया कि कुछ लोग एक हजार और 500 रुपये के पुराने नोटों को अवैध तरीके से नई मुद्रा में बदलने का प्रयास कर रहे हैं।