भोपाल। विगत दिवस प्रदेश के सबसे बड़े अस्पताल हमीदिया में हुई गरीब महिला की मौत और उसके शव को चूहों द्वारा कुतर दिए जाने के मामले को मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने गंभीरता से लेते हुए शुक्रवार को बड़ी कार्रवाई के निर्देश दिए।
इस मामले में हमीदिया मेडिकल कॉलेज की डीन डॉ. उल्का श्रीवास्तव एवं अपर मुख्य सचिव चिकित्सा शिक्षा प्रभांशु कमल को तत्काल प्रभाव से हटा दिया गया।
मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने शुक्रवार को सुबह राजधानी के हमीदिया चिकित्सालय का आकस्मिक निरीक्षण किया। इस दौरान उन्होंने अस्पताल में आउट डोर मरीजों के पंजीयन, औषधि वितरण और उपचार आदि व्यवस्थाओं का जायजा लिया।
इमरजेंसी वार्ड में जाकर मरीजों और उनके परिजनों से चर्चा की। उन्होंने व्यवस्थाएं बेहतर नहीं होने पर गहरी नाराजगी व्यक्त करते हुए अपर मुख्य सचिव चिकित्सा शिक्षा प्रभांशु कमल के स्थान पर प्रमुख सचिव लोक स्वास्थ्य गौरी सिंह को प्रभार देने, मनीष रस्तोगी को कमिश्नर चिकित्सा शिक्षा पदस्थ करने और डीन मेडिकल कॉलेज डॉ.उल्का श्रीवास्तव को हटाने के निर्देश दिए।
गंदगी देखकर गहरा रोष व्यक्त करते हुए सफाई एजेंसी को तत्काल प्रभाव से निरस्त करने के निर्देश दिए। मुख्यमंत्री श्री चौहान ने चिकित्सालय की व्यवस्थाओं और संसाधनों को अधिक बेहतर बनाने के लिए अस्पताल की प्रशासकीय व्यवस्थाओं में आमूल-चूल परिवर्तन की जरूरत बताई ताकि मरीजों को बेहतर चिकित्सा सुविधाएं मिल सके एवं उन्हें किसी तरह की असुविधा न हो।
उन्होंने संभाग आयुक्त, कलेक्टर भोपाल को निर्देशित किया कि अस्पताल की संचालन व्यवस्थाओं का गहराई से अध्ययन करे। रोगियों से चर्चा कर उनकी आवश्यकताओं और अपेक्षाओं की जानकारी ले। ऐसे रोगी जिनके उपचार की पर्याप्त व्यवस्थाएं चिकित्सालय मे नहीं है, उनका विशेषज्ञों से उपचार करवाए।
उन्होंने व्यवस्थाएं बेहतर बनाने के स्थाई कदम उठाने के भी निर्देश दिए। मुख्यमंत्री श्री चौहान आज सुबह निवास से स्टेट हैंगर के लिए जाते समय अचानक हमीदिया अस्पताल पहुंचे, जहाँ उन्होंने निरीक्षण के दौरान आउट डोर पेशेंट पंजीयन की कतार में खड़ी महिलाओं से चर्चा की। नि: शुल्क औषधि वितरण काउंटर और कक्ष में गए।
औषधि काउंटर से वितरित की जा रही दवाइयों और उनकी उपलब्धता के बारे में जानकारी ली। उन्होंने इमरजेंसी वार्ड के शौचालय का भी निरीक्षण किया जहां गंदगी पाई जाने पर सफाई ठेका निरस्त करने के निर्देश दिए। मुख्यमंत्री श्री चौहान इमरजेंसी वार्ड में भी गए।
भर्ती रोगी मेहताब, नत्थूराम, रज्जूलाल और रामबाई के पति टीकाराम से चर्चा कर अस्पताल में मिल रही दवाओं की जानकारी प्राप्त की। उन्होंने किडनी रोगी रज्जूलाल का नि:शुल्क इलाज करवाने के लिये चिकित्सक देवपुजारी को निर्देशित किया।
ड्यूटी पर तैनात जूनियर डाक्टरों से भी व्यवस्था की जानकारी ली। उन्होंने कहा कि चिकित्सालय के डॉक्टरों से वे अलग से चर्चा करेंगे।