नई दिल्ली। करोड़ों डॉलर के अगस्टा वेस्टलैंड वीवीआईपी हेलिकॉप्टर सौदा मामले में पूर्व वायुसेना प्रमुख एस.पी. त्यागी और अन्य के खिलाफ यहां की एक अदालत ने बुधवार को समन जारी किया। केंद्रीय जांच ब्यूरो के विशेष न्यायाधीश अरविंद कुमार ने त्यागी को 20 दिसंबर को अदालत में पेश होने के लिए समन जारी किया।
अदालत ने त्यागी के रिश्तेदार संजीव, तत्कालीन वायुसेना उपप्रमुख जे.एस.गुजराल, वकील गौतम खेतान, इटली की कंपनी फिनमेक्केनिका, इसकी पूरक कंपनी अगस्टा वेस्टलैंड और आईडीएस इंफोटेक को समन जारी किया। कंपनी की तरफ से उसके अधिकृत प्रतिनिधि अगुवाई करेंगे।
अदालत ने इस मामले में बिचौलिए क्रिस्चियन माइकल एवं गुइडो हस्के के खिलाफ नया गैर जमानती वारंट जारी किया है।
केंद्रीय जांच ब्यूरो(सीबीआई) ने एक सितंबर को त्यागी, संजीव, गुजराल, खेतान, इटली की रक्षा व एयरोस्पेस कंपनी फिनमेक्के निका के पूर्व प्रमुख गुइसेप्पे ओरसी, अगस्टा वेस्टलैंड के पूर्व सीईओ ब्रुनो स्पैग्नोलिनी एवं तीन बिचौलियों -क्रिस्चियन माइकल एवं गुइडो हस्के और कारलो गेरोसा- के खिलाफ आरोप पत्र दाखिल किया था।
ओरसी और स्पैग्नोलिनी को पहले ही इटली की एक अदालत भारतीय अधिकारियों को रिश्वत देने के मामले में सजा सुना चुकी है।
त्यागी, उनके भाई संजीव एवं खेतान कथित रूप से ब्रिटेन की अगस्टा वेस्टलैंड से सौदे मामले में कथित अनियमितता में संलिप्त थे। त्यागी वर्ष 2004 से 2007 तक वायुसेना प्रमुख रहे थे।
इनलोगों को पिछले वर्ष दिसंबर में इस मामले में एजेंसी ने गिरफ्तार किया था और फिलहाल ये लोग जमानत पर रिहा हैं।
सीबीआई ने 12 मार्च, 2013 को इस मामले में प्राथमिकी दर्ज की थी और आरोप लगाया था कि सौदा प्राप्त करने में उत्पादकों को सहायता पहुंचाने के एवज में त्यागी व अन्य आरोपियों ने रिश्वत ली थी। सीबीआई ने इनलोगों पर अपराधिक षड्यंत्र, धोखाधड़ी और भ्रष्टाचार निरोधक मामले में प्राथमिकी दर्ज की थी।
सीबीआई की जांच से कथित रूप से खुलासा हुआ था कि रिश्वत के रूप में यूरोपीय बिचौलिए ने त्यागी बंधु को कई बार राशि का भुगतान किया था।