अजमेर। एचकेएच पब्लिक स्कूल में शनिवार को आयोजित वार्षिक प्रदर्शनी 2016 बच्चों में सृजनात्मक अभिरुचि निखारने का पर्याय बन गई। इस प्रदर्शनी का शीर्षक स्वच्छ भारत रखा गया।
विद्यालय के वैशाली नगर स्थित परिसर में आयोजित इस प्रदर्शनी का उद्घाटन मुख्य अतिथि महापौर धर्मेन्द्र गहलोत तथा विशिष्ट अतिथि चार्टर्ड अकाउंटेट एचएम जैन ने फीता काटकर तथा दीप प्रज्वलित कर किया।
स्कूल के अध्यक्ष मोतीलाल माथुर ने बताया कि स्वच्छता अभियान को बढ़ावा देने तथा स्वच्छता के लिए प्रेरित करने बाबत चुना गया।
प्रधानाध्यापिका रीना करना व सांस्कृतिक प्रभारी ज्योति गोयल ने बताया कि बीते 20-25 दिन से स्कूल के नर्सरी से लेकर 12वीं तक के समस्त छात्र छात्राएं बड़े उत्साह के साथ मॉडल बनाने में व्यस्त थे। विद्यालय प्रबंध समिति के सदस्य अजय कुमार ठाकुर तथा किरण ठाकुर के दिशा निर्देशों से प्रदर्शनी को उचित स्वरूप दिया गया।
प्रदर्शनी प्रभारी प्रियंका शर्मा ने बताया कि स्कूल के विभिन्न विभागों हिन्दी, अंग्रेजी, संस्कृत, विज्ञान, सामाजिक विज्ञान, गणित, कंप्यूटर, कला खूलकूद के द्वारा स्वच्छता तथा जन जागृति के लिए उत्कृष्ट संदेश देने वाले कलात्मक मॉडल एवं पोस्टर बनाए गए।
विज्ञान विभाग ने अजमेर में प्रस्तावित शवदाह गृह, स्मार्ट सिटी अजमेर में बायोगैस प्लांट, स्वचलित सफाई करने वाला रॉबोट, सिवरेज फिल्ट्रेशन प्लांट, वाटर सप्लाई, स्वच्छ अजमेर, जेएलएन अस्पताल, रेलवे स्टेशन आदि से संबंधित मॉडल बनाए गए। विभिन्न कार्यकलापों के जरिए दैनिक जीवन में विज्ञान का उपयोग करने दिखाया गया।
सामाजिक विज्ञान विभाग ने गंदगी से प्रभावित माउंट एवरेस्ट, प्रदूषण का ताजमहल पर प्रभाव, प्राचीन पवित्र नदियों का दूषित होना,
स्वच्छता एवं आधुनिक तकनीकी का उपयोग, वैदिक गांव व सभ्यता का विकास करना, नदी तंत्र व सिंधु घाटी सभ्भ्यता, स्वच्छ भारत स्वस्थ भारत आदि विषय पर मॉडल प्रदर्शित किए। राष्ट्र की धरोहरों का संरक्षण, पृथ्वी को प्रदूषण से बचाना प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की ओर से चलाए जा रहे स्वच्छता अभियान का हिस्सा हैं, उन्हें कालार्ज के जरिए प्रदर्शित किया गया।
वाणिज्य विभाग ने एयर प्यूरिफायर लैड, रीक्लेमेशन, जूट मेन्यूफ्रेक्चरिंग, प्रोसेसिंग इंडस्ट्री, रिसाइकलिंग पेपर, रोबोट एंड वाटर ट्रीटमेंट, पेपरलैस सोसायटी के मॉडल प्रदर्शित किए।
गणित विभाग की ओर से प्रदशित मॉडल गणितीय रोबोट, पहेलियां, वेन आरेख, पाइथेगोरसप्रमेय, थ्री डी ऑक्टेन व बेलन, कंकु, गोले के आयतन निकालना तथा विभिन्न ज्यामितिय आकृतियों के बारे में बताया गया।
अंग्रेजी विभाग ने वॉकी टॉकी डस्टबिन, फ्रेजिज व इंडियंस, गुलिवर इन शैकल्स ऑफ पोल्यूशन, पजल्स, कोटेशंस प्रस्तुत किए।
हिन्दी विभाग ने गांधीजी द्वारा चरखा चलाना, वर्तमान परिपेक्ष्य में स्वच्छता का संदेश देते मोदी के तीन बंदरों की प्रस्तुत कलाकृति रोचक रही। इन तीन बंदरों में से पहला बंदर संदेश दे रहा था कि कचरा जहां भी देखा उसे हटाओं, दूसरा सफाई के बारे में सोचो और तीसरा आत्मस्वच्छता का संदेश दे रहा था। इस मॉडल के साथ वृक्ष बचाओ, प्राकृतिक सुविधाओं से सुसज्जित घर, मटके का फ्रीज, आनासागर की स्वच्छता, पानी की अशुद्धि दूर करने के तरीके संबंधी माडल भी प्रस्तुत किए गए।
संस्कृत विभाग ने पर्यावरण में स्वच्छता के लिए यज्ञ हवन का महत्व, गुरु शिष्य परंपरा, तीर्थ स्थलों, विद्यालय परिसर, सार्वजनिक स्थल, शहर की स्वच्छता आदि को दर्शाया तथा श्लोकों का पाठ किया।
खेलकूद विभाग ने विभिन्न खेलों के मैदान और स्वच्छता के बारे मॉडल प्रदर्शित किए साथ ही ट्रेडिशनल कम डिजिटल लाइब्रेरी का प्रदर्शन किया।
चित्रकला विभाग ने झूलेलाल, गणेश, शंकर, सांईबाबा आदि की मूर्तियां, फूलों के गुलदस्ते, टोकरियों की झालर, कलात्मक थालियां, पैन स्टेंड, बांदरवाल आदि प्रदर्शित किए।
प्रदर्शनी के दौरान ही हिन्दी, अंग्रेजी और संस्कृत विभाग ने जनजागृति के लिए नुक्कड नाटक, गीत, कविता पाठ और श्लोक पाठ किया।
प्रदर्शनी के अवलोकन के लिए शहर माहेश्वरी पब्लिक स्कूल, वृंदावन पब्लिक स्कूल, ब्लोसम स्कूल समेत कई विद्यालयों के छात्र छात्राओं को आना हुआ।
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