जयपुर। बीड़ी-सिगरेट सहित अन्य तंबाकू उत्पादों पर 1 अप्रेल 2016 से 85 प्रतिशत सचित्र चेतावनी केा लेकर केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय ने अब तक क्या किया है इस पर राजस्थान हाइकोर्ट में वरिष्ठ अधिवक्ता ने प्रार्थना पत्र दायर कर जानकारी मांगी गई है।
राजस्थान हाइकोर्ट ने 6 नवंबर को अगली सुनवाई का समय दिया है। अधिसूचना में 1 अप्रेल 2016 से इन उत्पादों पर 85 प्रतिशत सचित्र चेतावनी को लागू करना होगा।
वरिष्ठ अधिवक्ता राहुल जोशी ने राजस्थान हाइकोर्ट में सचित्र चेतावनी को लेकर याचिका दायर की थी, जिस पर हाइकोर्ट में सुनवाई करते हुए 3 जुलाई को अधिसूचना को लागू करने का आदेश किया गया था। इस पर पिछले एक साल में किस प्रकार की कार्यवाही की गई है,इस पर जानकारी मांगी गई है।
उन्होने न्यायालय में दिये प्रार्थना पत्र में बताया कि नियमानुसार 15 अक्टूबर 2014 को केंद्र सरकार ने नोटिफिकेशन जारी कर 1 अप्रेल 2014 से सचित्र चेतावनी को 85 प्रतिशत करने और अब 28 सिंतबर 2015 को सचित्र चेतावनी बढ़ाने का नेाटिफिकेशन जारी किया।
लेकिन सरकार ने 1 अप्रेल 2015 सें इसे लागू नही किया गया। वंही स्वास्थ्य मंत्रालय ने ना तो सावर्जनिक सूचना जारी की और ना ही आधिकारिक वेबसाइट पर सचित्र चेतावनी के नोटिफिकेशन को अपलोड किया तथा सचित्र चेतावनी को निर्माता, रिटेल व डिस्ट्रब्यूस्टर को निर्धारित फोर्मेट में नही भेजा इसकी स्टेटस रिपोर्ट मांगी है।
पूर्व में भारत के द्वारा 2014 में जारी अधिसूचना को जिस प्रकार से सरकार ने कमेटियेां के गठन और उसकी रिपोर्ट के आधार पर टाल दिया था और 28 सितंबर 2015 को जारी नोटिफिकेशन को टालने के लिए सरकार किसी प्रकार की देरी नही करेगी इस पर भी रिपोर्ट देने को कहा है।
पूर्व में केंद्र सरकार 6 माह से सरकार कमेटी की रिपोर्ट का हवाला देकर तंबाकू उत्पादेां पर सचित्र चेतावनी को लागू करने में देरी की लेकिन अब राजस्थान हाइकोर्ट की फटकार के बाद अधिसूचना को जारी कर दिया।
पिछले कई महिनों से चल रहे विवाद पर राजस्थान हाइकोर्ट की फटकार के बाद केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय ने एक अधिसूचना जारी कर विराम लगा दिया है। इस अधिसूचना में 1 अप्रेल 2016 से इन उत्पादों पर 85 प्रतिशत सचित्र चेतावनी को लागू करना होगा। इससे इसका प्रयोग करने वालों की सं या में कमी आयेगी।