नई दिल्ली। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की अध्यक्षता में आर्थिक मामलों की मंत्रिमंडलीय समिति ने बुधवार को भारत सरकार और डी बीयर्स शताब्दी मॉरीशस लिमिटेड (डीबीसीएमएल) की 50:50 भागीदारी वाली हिंदुस्तान डायमंड प्राइवेट लिमिटेड कंपनी (एचडीसीपीएल) को बंद किए जाने की प्रक्रिया शुरू करने को मंजूरी दे दी।
सरकार का कहना है कि एचडीसीपीएल को बंद किए जाने से भारतीय हीरा प्रसंस्करण उद्योग को हीरे की आपूर्ति प्रभावित नहीं होगी।
सरकार का मानना है कि भारतीय हीरा उद्योग पिछले कुछ वर्षों में काफी फैला है और कई भारतीय कंपनियों के पास शीर्ष हीरा उत्पादक कंपनियों के साथ मिल कर हीरे की खानों के पट्टे हैं।
एचडीसीपीएल को 1978 में कंपनी अधिनियम 1956 के तहत गठित किया गया था। कंपनी के गठन का उद्देश्य भारत में हीरा प्रसंस्करण उद्योग के लिए हीरे की आपूर्ति करना था।
विशेष रूप से छोटे और मध्यम हीरा आभूषण निर्यातकों के लिए जिनका डायमंड ट्रेडिंग कंपनी (डीटीसी) लंदन से सीधा संपर्क साधना मुश्किल था। डी बीयर्स की इस विपणन शाखा का दुनिया के हीरे के बाजार में एक बहुत बड़ा हिस्सा है।
इसके अलावा हीरे की निरंतर आपूर्ति की सुविधा और भारत को एक इंटरनेशनल डायमंड ट्रेडिंग हब बनाने के लिए वर्तमान में एक विशेष अधिसूचित क्षेत्र (एसएनजेड) भारत डायमंड एक्सचेंज, मुंबई में बनाया गया है।
जिसमें विदेशी खनन कंपनियों (एफएमसी) को मात्र भारतीय निर्माताओं के लिए हीरे प्रदर्शित करने हैं। इसके बाद की बिक्री ई-नीलामी के माध्यम से होती है।
अन्य खबरें :