सबगुरु न्यज-जयपुर/ सिरोही। प्रदेश भर में नगर निकायों में की जा रही राजनीतिक नियुक्तियों के भेजे गए सहवृत्त पार्षदों की शेक्षणिक योग्यता माध्यमिक शिक्षा बोर्ड राजस्थान या उसके समकक्ष बोर्ड से माध्यमिक विद्यालय परीक्षा उत्तीर्ण होना आवश्यक हैं।
स्वायत्त शासन विभाग के संयुक्त सचिव ने प्रदेश के सभी जिला कलक्टरों को पत्र भेजकर निर्देश दिए हैं कि वह सहवृत्त पार्षदों को शपथ दिलवाने से पूर्व उनकी शैक्षिक प्रमाण-पत्रों की जांच कर लेवें। ऐसे में प्रदेश में ऐसे कई सहवृत पार्षदों की नियुक्तियां रद्द हो सकती हैं, जो दसवी पास नहीं है।
प्रदेश भर के अलावा सिरोही से भी कांग्रेस के पूर्व विधायक संयम लोढा व कांग्रेस के पार्षदों ने इस संदर्भ में डीएलबी को ज्ञापन और पत्र लिखा था। सबगुरु न्युज्।
इसके बाद जिला कलक्टरों को भेजे पत्र में स्वायत्त शासन विभाग के संयुक्त सचिव ने 17 नवम्बर,16 को पत्र लिखा कि नगर पालिका, द्वितीय संशोधन, अधिनियम 2015, के अनुसार नगर निकायों के निर्वाचित और सहवृत सदस्यों की न्यूनतम शैक्षिक योग्यता माध्यमिक शिक्षा बोर्ड राजस्थान या उसके समकक्ष बोर्ड से माध्यमिक विद्यालय परीक्षा उत्तीर्ण होना है।
ऐसे में प्रदेश में हाल ही में की जा रही सहवृत पार्षदों के मनोनयन के बाद इन्हें शपथ दिलवाने से पूर्व इनके शेक्षिक प्रमाण-पत्रों की तस्दीक जिला कलक्टर को करनी होगी।
-सिरोही में भी विवाद
सिरोही जिला के पांचों नगर निकायों में हाल ही में भाजपा सरकार ने सहवृत पार्षदों की नियुक्तियां की हैं। इनमें से अधिकांश नामों के बाहर आने पर इनकी शेक्षिक योग्यता निर्धारित मापदण्डानुसार नहीं होने की शिकायत कांग्रेस और भाजपा का असंतुष्ट खेमा राज्य सरकार को करता रहा है।
सिरोही, पिण्डवाडा, माउण्ट आबू में नियुक्त सहवृत पार्षदों की शेक्षिक योग्यताओ की जांच करने की मांग होती रही है। ऐसे में जिला कलक्टरों की ओर से इन जांचों में किसी सहवृत पार्षद की शेक्षिक योग्यता दसवी से कम होती है तो उसका मनोनयन रद्द हो सकता है।