सबगुरु न्यूज-जयपुर/सिरोही। जालोर लोकसभा सीट के भाजपा सांसद देवजी पटेल के भाई का माउण्ट आबू में माॅनीटरिंग कमेटी की स्वीकृति के विपरीत बने मकान के हिस्से को तोडने वाले उपखण्ड अधिकारी गौरव अग्रवाल को का राज्य सरकार ने शनिवार को स्थानांतरण कर दिया है। इस मामले में कांग्रेस ने मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे और भाजपा को घेरा है। यह मामला राज्य स्तर पर भाजपा और मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे को विधानसभा के बजट सत्र के दौरान सदन और बाहर घेरने का हथियार बन सकता है।
कांग्रेस के पूव विधायक संयम लोढा ने इस बारे में प्रेस नोट जारी करके मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे पर आरोप लगाया कि वे भाजपा के नेताओं के अवैध और गैर कानूनी कामों को रोकने वाले अधिकारियों को प्रताड़ित कर रही हैं। लोढा ने आरोप लगाया कि माउंट आबू में जालोर-सिरोही के भाजपा सांसद देवजी पटेल के भाई के द्वारा गत महीने सुप्रीम कोर्ट की और से ईको सेंसेटिव जोन बनने के बाद गठित मॉनिटरिंग कमेटी के निर्णयों के विपरीत किये गए निर्माण को तोड़ने वाले आइएएस अधिकारी गौरव अग्रवाल का स्थानांतरण करना इस बात का प्रमाण है।
लोढा का आरोप है कि संसद देवजी पटेल खुद मॉनिटरिंग कमेटी के एक सदस्य हैं। इस समिति के स्थायी सदस्य के रूप में भाजपा के माउंट आबू मंडल अध्यक्ष, भाजपा के जिला महामंत्री और खुद सांसद के करीबी व्यक्ति हैं। सुप्रीम कोर्ट की मंशा के विपरीत इस समिति में राज्य सरकार ने पर्यावरणविदों को सदस्य के रूप में नामित नहीं करके अपनी ही पार्टी के लोगों को लाभान्वित कर न्यायालय की आँखों में धूल झोंकने का काम किया है।
लोढा ने कहा कि इस पर भी खुद सांसद के भाई और मांउट आबू की भाजपा की पालिका उपाध्यक्ष के सुप्रीम कोर्ट के माध्यम से गठित मॉनिटरिंग कमेटी के नियमों और निर्णयों के विपरीत बनाये गए निर्माणों को तोड़ने वाले अधिकारियों को सजा के रूप में स्थानांतरित करके मुख्यमंत्री ने ये बता दिया है कि राजस्थान में कानून की पालना करवाने लोग यदि भाजपा को अवैध काम करने से रोकेंगे तो उन्हें प्रताड़ना मिलेगी।
लोढा ने कहा कि मुख्यमंत्री को कहाँ तो ये जाँच करवानी चाहिए कि माउंट आबू के साधारण और स्थायी निवासियों के हितों को दरकिनार करके भाजपा के सांसद और भाजपा की पालिका उपाध्यक्ष को किस तरह इतने बड़े निर्माण की अनुमति मिल गयी, इसके विपरीत कानून और न्यायालय का राज स्थापित करवाने वाले अधिकारियों को इस तरह स्थानांतरित करके उन्होंने सुराज की जगह भाजपा राज में फैले कुराज का एक और उदाहरण पेश किया है।
लोढा ने आरोप लगाया कि मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे का जनता को भगवान् और खुदको पुजारी बताने का बयान ढकोसला लग रहा है। जबकि उनकी कार्यप्रणाली जनता को पीड़ित और खुद को और अपनी पार्टी के अवैधानिक काम करने वाले नेताओं को जनता पर जुल्म करने वाले हाकिम के रूप में स्थापित करने वाली है।
जालोर सांसद और एसडीएम के मध्य खींचतान का पूरा मामला जानने के लिए पढें नीचे दी खबरें…
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