सिरोही। नामांकन के अंतिम दिन जबरदस्त परिवर्तन देखने को मिला। भाजपा ने तीन कदम बढाकर शॉट खेला तो कांग्रेस दो कदम पीछे हट गयी। निर्वाचन विभाग के नए निर्देशों ने भाजपा के तीन और कांग्रेस के दो प्रत्याशियों पर भारी पड़ रहा था। कांग्रेस ने कानूनी अड़चनों को देखते हुए वार्ड 14 से विनोद देवड़ा और 15 से बाबू खान के टिकट काट दिए। वहीं भाजपा ने ने इन नियमों को कम आंकते हुए वार्ड 9 से सुरेश सगरवंशी, 13 से हनुमान तथा 16 से मनोज को टिकट दे दिए। बुधवार को आवेदनों की जांच के दौरान इनपर गाज गिर सकती है।…
भाजपा का प्लान बी तैयार
इन तीन टिकटों के काटने से भाजपा में जबरदस्त विरोध उठता दिख रहा था। यहाँ तक कि आला नेताओं का पुतला जलाने तक कि योजना बना ली थी। इस संभावित वीरोध को देखते हुए ही भाजपा ने अपनी सूची देर से जारी की। भाजपा के आला नेताओं ने भी प्लान बी होने के कारण इन तीनों को टिकट देने के कयास लगाये जा रहे हैं। इन तीनों के नए नियमों की भेंट चढ़ने की स्थिति में प्लान बी पर काम करने लगेंगे। पार्टी सूत्रों की माने तो इस स्थिति में 9 से प्रवीण, 13 से रणछोड़ और 16 से दिलीप ओझा भाजपा के डमी कैंडिडेट हो सकते हैं।
इन नियमों ने फंसाया पेच
निर्वाचन विभाग का सोमवार को आये आदेश के अनुसार नगर निकाय के ठेकेदार चुनाव नहीं लड़ सकते। इस नियम ने संयम लोढ़ा के सबसे करीबी माने जाने वाले विनोद और बाबू खान को अपना शिकार बना लिया। वहीँ इससे पूर्व में एक आदेश आया था कि जिन लोगों के खिलाफ फौजदारी मुकदमों में चार्जशीट दाखिल हो गयी हो और न्यायलय ने आरोप तय कर दिए हों वे भी चुनाव लड़ने के अयोग्य होंगे। सुरेश सगरवंशी, हनुमान प्रजापत और मनोज पुरोहित पर इसी नियम की मार पड़ती देख भाजपा में भी हलचल थी। इन तीनों पर सिरोही में 20 अक्टूबर 2008 में हुए दंगों में विभिन धाराओं में मुक़दमे दर्ज करके पुलिस ने चार्जशीट दाखिल कर दी थी और न्यायलय की और से आरोप तय कर दिए गए हैं।