सिलीगुडी। यूनेस्को के विश्व धरोहर में शुमार दार्जिलिंग पार्वत्य क्षेत्र में चलने वाली ऐतिहासिक टॉय ट्रेन में अब विभिन्न अवसरों पर पार्टियों का आयोजन किया जा सकेगा।
पहाडों की हसीन वादियों में टेढे मेढे उबर खाबड पटरियों पर अपनी धीमी चाल के लिए मशहूर टॉय ट्रेन में अधिक संख्या में पर्यटकों को आकर्षित करने तथा आमदनी बढाने के लिए दार्जिलिंग हिमालयन रेलवे (डीएचआर) ने यह निर्णय लिया है।
यहां पहुचे देशी विदेशी पर्यटक रात के समय चांद की जगमग रोशनी में टॉय ट्रेन में पार्टी का मजा ले सकते हैं। रात में चलनेवाली टॉय ट्रेन शाम साढे पांच बजे दार्जिलिंग से रवाना होकर घूम होते हुए रात आठ बजे दार्जिलिंग लौट आएगी।
डीएचआर सूत्रों के अनुसार रात के समय टॉय ट्रेन के परीक्षामूलक संचालन के बाद यह फैसला लिया गया। पर्यटकों को अधिक संख्या में अपनी ओर खींचने एवं आय बढाने के उद्देश्य से डीएचआर का यह प्रयास रंग लायेगा रेलवे अधिकारी ऐसी उम्मीद कर रहे हैं।
अधिकारियों ने बताया कि जन्मदिन हो, पूजा व त्यौहार अथवा किटी पार्टी लोग घर से बाहर पहाड की हसीन वादियों में चांदनी रात में अपना मजा दुगना कर सकते हैं।
इसके लिए समय रहते टॉय ट्रेन को कोच बुक कराना होगा। डीएचआर सूत्रों के अनुसार रात्रिकालीन सेवा के लिए टॉय ट्रेन के एक कोच के लिए करीब 55 हजार रूपए अदा करने होंगे।