नई दिल्ली। करावल नगर इलाके में ढाई लाख रुपए की फिरौती के लिए बदमाशों ने सात साल के मासूम को अगवा लिया गया।
मासूम बच्चे ने जब अपने घर जाने की जिद की तो आरोपियों ने उससे मुक्ति पाने के लिए उसे जिंदा ही यमुना में फेंक दिया। बाद में फिरौती की रकम मांगी गई।
इधर पुलिस ने टेक्नीकल सर्विलांस की मदद से पुलिस ने दो आरोपियों को दबोच लिया। इनकी पहचान विकास (20) और आर्या (19) के रूप में हुई है।
एक अन्य आरोपी को हिरासत में लेकर पुलिस उससे पूछताछ कर रही है। पुलिस ने रविवार को मासूम का शव गीता कालोनी के पास यमुना नदी से बरामद कर लिया। शव को पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया गया है।
पुलिस के अनुसार मासूम बच्चा अंदाज (7) परिवार के साथ ए-17-सी, न्यू सभापुर, करावल नगर में रहता था। इसके परिवार में पिता स्वर्ण कुमार मिश्रा, मां व एक भाई व दो बहन हैं।
स्वर्ण प्राइवेट नौकरी करता है। वहीं अंदाज पास के एक निजी स्कूल में पहली कक्षा का छात्र था। सोमवार को घर के पास से खेलते हुए अंदाज अचानक गायब हो गया।
परिजनों ने रात भर उसकी तलाश करने के बाद अगले दिन करावल नगर थाने में अंदाज के गायब होने की गुमशुदगी दर्ज करा दी।
22 फरवरी दोपहर करीब 3.30 बजे अंदाज के ताऊ विनोद कुमार मिश्रा के मोबाइल पर ढाई लाख रुपए की फिरौती के लिए कॉल आई। मामले की सूचना पुलिस को दी गई। पुलिस ने फिरौती के लिए अगवा किए जाने की धारा जोड़कर जांच शुरू कर दी गई।
उसी दिन दूसरी कॉल कर बदमाशों ने कहा कि करावल नगर के एक खाली प्लॉट में रुपये रख दें। पास की एक दुकान पर उन्हें बच्चा मिल जाएगा। पुलिस ने इसके लिए जाल बिछाया, लेकिन बदमाशों को पुलिस की योजना की भनक लग गई।
बदमाश रुपए लेने नहीं आए और न ही उन्होंने कोई कॉल की। इधर पुलिस ने शुक्रवार को टेक्नीकल सर्विलांस के आधार पर चमन विहार, करावल नगर से विकास नामक युवक को दबोच लिया, बाद में अंकित को भी दबोच लिया गया।
रविवार को एक अन्य आरोपी युवक को हिरासत में लेकर उससे पूछताछ की जा रही है। पकड़े जाने पर विकास व आर्या ने खुलासा किया कि 20 फरवरी को शाम को विकास ने बच्चे से कहा कि अगर वह उसे पकड़ लेता तो वह उसे 10 रुपए देगा।
बच्चे ने कुछ दूर भागकर विकास को कपड़ लिया। आरोपी उसे मोमोज खिलाने के बहाने मोरीगेट ले गए। वहां रात के समय बच्चे ने जब घर जाने की जिद की तो आरोपी उसे आईएसबीटी के पास यमुना नदी के पुल पर ले गए।
वहां पुल की कटी हुई जाली से बच्चे को नीचे फेंक दिया। बच्चे को फेंकते समय बदमाशों ने कहा कि नीचे जाकर मछली देख ले। इधर बदमाशों के खुलासे के बाद पुलिस ने अंदाज के शव की तलाश शुरू कर दी।
दो दिन चले तलाशी अभियान के दौरान रविवार को गीता कालोनी इलाके के पास यमुना से मासूम का शव बरामद हुआ। पुलिस ने जब दोनों बदमाशों को गिरफ्तार कर परिवार को उसकी सूचना दी तो परिवार हक्का-बक्का रह गया।
पकड़ा गया विकास परिवार का पड़ोसी निकला। दरअसल सभापुर के अलावा स्वर्ण कुमार का करावल नगर के चमन विहार में भी प्लाट है। उसी के पड़ोस में विकास रहता था।
स्वर्ण व उसके परिवार के अन्य लोग अपने प्लॉट पर आते-जाते रहते थे। इसी कारण विकास का परिवार से परिचय था। परिवार से पहचान के कारण ही विकास व उसके दोस्तों ने अंदाम को अगवा कर फिरौती की योजना बनाई।
लेकिन पकड़े जाने के डर और अंदाज के घर जाने की जिद की वजह से उसको यमुना में फेंक दिया गया। पूछताछ के दौरान आरोपियों ने खुलासा किया कि अंदाज को अगवा कर फिरौती लेने के बाद उनकी कई अन्य बच्चों को भी अगवा करने की योजना था।
आरोपी धनी लोगों के बच्चों को अगवा नहीं करना चाहते थे। उनका मानना था कि धनी व्यक्ति पैसे के बल पर अपनी ताकत दिखाकर उन्हें पकड़वा देगा। गरीब व मिडिल क्लास लोगों के बच्चों को अगवा करने पर पुलिस से पकड़े जाने का डर कम था। ऐसे में उनका टारगेट गरीब परिवार व मिडिल क्लास लोग थे।