हरदा। मध्यप्रदेश के हरदा जिला अस्पताल में एक जरूरतमंद की बजाए खून की सामान्य जांच कराने आई एक अन्य महिला को दूसरे ब्लड ग्रुप का खून चढ़ाने का मामला सामने आया है।
महिला की हालत खराब होने और मामले का खुलासा होने के बाद अधिकारी अब इसे दो मरीजों के एक ही नाम से पैदा हुई गफलत करार दे रहे हैं। परिजनों के मुताबिक जिले की रन्हाईकला गांव की सरोज पति सुरेश चंद्र (65) को गुरुवार को किडनी रोग की वजह से खून की जरूरत के चलते हरदा जिला अस्पताल लाया गया था।
उसे बी पाजिटिव खून चढ़ाया जाना था, लेकिन अस्पताल में तैनात ड्यूटी डाक्टर और नर्स ने ये खून इस महिला को ना चढ़ाकर सिर दर्द और बुखार से पीडि़त इसी नाम की दूसरी महिला को चढ़ा दिया।
सरोज नाम की इस दूसरी महिला को खून चढ़ते ही उसकी तबीयत बिगड़ गई। उसका ब्लड ग्रुप कोई दूसरा था, जिससे उसकी हालत खराब होने लगी। महिला की हालत देख उसके परिजन डाक्टर और नर्स को ढूंढने पहुंचे और खून की बोतल निकलवाई।
बुखार पीडि़त इस महिला के परिजनों ने बताया कि उसे खून की जरूरत ही नहीं थी और उसे सिर्फ खून की जांच के लिए यहां लाने को कहा गया था। पूरे मामले पर मुख्य चिकित्सा अधिकारी डॉ. आरसी उदेनिया ने कहा कि ये सब एक ही नाम की दो महिलाओं के होने की वजह से हुआ है।
इस मामले की जांच कराके दोषियों पर कार्रवाई की जाएगी। लगभग एक पखवाड़े पहले प्रदेश के रायसेन जिला अस्पताल में एक अधेड़ को पशुओं को चढ़ाई जाने वाली दवाई चढ़ाने का भी मामला सामने आया था। उसकी हालत खराब होने के बाद परिजनों ने इस गंभीर लापरवाही की ओर डॉक्टरों का ध्यान दिलाया था।