सबगुरु न्यूज बांसवाड़ा/उदयपुर। उदयपुर संभाग के वनवासी अंचल वागड़ क्षेत्र को रेल लाइन से जोड़ने की महत्वाकांक्षी योजना भूमि अवाप्ति नहीं होने से अटक गई है।
यह खुलासा राजस्थान के गृहमंत्री गुलाबचंद कटारिया ने शनिवार को उस वक्त किया जब वे प्रधानमंत्री मोदी व एनडीए की सरकार द्वारा उदयपुर संभाग में रेल सुविधाओं पर दिया गया बजट गिना रहे थे। इस दौरान डूंगरपुर-बांसवाड़ा-रतलाम रेल लाइन का कार्य नहीं होने के सवाल पर कटारिया ने कहा कि भूमि अवाप्ति को लेकर कई जगह विरोध होने से मामला अटक गया। कुछ जगह वन विभाग की भी जमीन आ रही है, उसकी भी स्वीकृति बाकी है।
चंूकि भूमि अवाप्ति का जिम्मा राज्य सरकार का है, ऐसे में राज्य सरकार प्रयास कर रही है। भूमि अवाप्ति के बाद ही केन्द्र से इस परियोजना के लिए बजट उपलब्ध हो सकता है। उन्होंने बताया कि बांसवाड़ा में थर्मल पावर प्लांट परियोजनाओं के मद्देनजर ही यह रेल लाइन परियोजना भी स्वीकृत हुई थी। गौरतलब है कि बांसवाड़ा में आज तक रेल की पटरी नहीं पहुंची है।
कटारिया ने यह भी साफ किया कि कोई यदि यह कहता है कि यह परियोजना कांग्रेस सरकार के कार्यकाल में होने के कारण भाजपा सरकार ध्यान नहीं दे रही तो गलत है, क्योंकि पिछली कांग्रेस सरकार की कई परियोजनाओं को भाजपा सरकार पूरा करा रही है जिसके कई उदाहरण है। जनहित के कार्य में ऐसी राजनीति नहीं होती।
हालांकि, कटारिया ने कहा कि केन्द्र ने ढाई हजार करोड़ से भी अधिक का बजट उदयपुर के रेल विकास के लिए दिया है। उदयपुर-अहमदाबाद ब्राॅडगेज के लिए भूमि अवाप्ति का कार्य पूरा हो चुका है। अब कोई रुकावट नहीं है। साथ ही हवाई सेवाओं में भी इजाफा होने वाला है। दो माह में उदयपुर से उड़ानें 12 से बढ़कर 23 हो जाएंगी। इनमें बेंगलूरु, चैन्नई के लिए भी उड़ानें होंगी। अंतरराष्ट्रीय उड़ानों में दुबई की उड़ान भी शुरू होगी।