लंदन। ईरान की राष्ट्रीय महिला फुटबाल टीम के आठ सदस्य असल में पुरूष हैं और उन्हें लिंग में बदलाव करने वाले आपरेशन के होने का इंतजार है। खबरों में यह दावा किया गया है।
मीडिया रिपोर्टों में ईरान फुटबाल के एक अधिकारी के हवाले से इस अजीबोगरीब घटना का खुलासा किया गया है। ईरान के राष्ट्रीय फुटबाल संघ पर जानबूझकर अपनी महिला टीम में आठ पुरुषों को उतारने पर ‘अनैतिक’ काम करने का आरोप लगा है।
ईरानी लीग के करीबी एक अधिकारी मोजताबी शरीफी ने ईरान की एक सामाचार वेबसाइट से कहा कि आठ खिलाड़ी लिंग में बदलाव का आपरेशन पूरा कराए बगैर ईरान की महिला टीम के साथ खेल रहे हैं।
ब्रिटेन के सामाचार पत्रों ने इसी बेबसाइट के हवाले से खबर दी है। रिपोर्ट के अनुसार ईरान के अधिकारियों ने बुधवार को पूरी राष्ट्रीय टीम और लीग में खेलने वाले मुख्य खिलाडिय़ों का लिंग परीक्षण कराने का आदेश दिया।
ईरान की महिला टीम सिर को ढकने वाले हिजाब, लंबी बाजू वाले टाप और ट्रैक सूट पहनकर खेलती है। समाचार पत्र के अनुसार वर्ष 2014 में देश में फुटबाल की संचालन संस्था ने परीक्षण शुरू किए थे जब यह खुलासा हुआ था कि राष्ट्रीय टीम के चार खिलाड़ी या तो ऐसे पुरूष हैं जिन्होंने लिंग बद लाव परीक्षण पूरा नहंी कराया है या फिर वे यौन विकास विकार से ग्रसित हैं।
वर्ष 2010 में टीम की गोलकीपर के लिंग को लेकर भी संदेह हुआ था। समाचार पत्र ने कहा है कि ईरान में लिंग बदलाव परीक्षण वैध हैं लेकिन इसको लेकर कड़े नियम हैं। इसके अलावा लिंग बदलाव का परीक्षण पूरा कराने में दो साल तक का समय लगता है जिसके बाद लिंग परिवर्तन पूरा होता है। ईरान की राष्ट्रीय टीम दुनिया की 59वें और एशिया की 13वें नंबर की टीम है।