लीड्स/नई दिल्ली। इंग्लैंड ने चौथे एकदिवसीय में ऑस्ट्रेलिया को तीन विकेट से हराकर पांच मैचों की श्रृंखला में 2-2 से बराबरी कर ली। ऑस्ट्रेलिया ने इंग्लैंड को 300 रन का लक्ष्य दिया, जिसे इंग्लिश टीम ने 7 विकेट के नुकसान पर 48.2 ओवरों में हासिल कर लिया। इंग्लैंड की जीत के हीरो रहे कप्तान इयोन मोर्गन। मोर्गन ने बेहतरीन 92 रन की पारी खेली।
टॉस जीतकर पहले बल्लेबाजी के लिये उतरे ऑस्ट्रेलिया की शुरूआत अच्छी नहीं रही लेकिन वह ग्लेन मैक्सवेल (85) और जॉर्ज बेली (75) के बीच चौथे विकेट के लिये 137 रन और विकेटकीपर बल्लेबाज मैथ्यू वेड (नाबाद 50) और जॉन हेस्टिंग्स (नाबाद 34) के बीच आठवें विकेट के लिये 84 रन की अटूट साझेदारी की मदद से सात विकेट पर 299 रन बनाने में सफल रहा।
एक समय इंग्लैंड का स्कोर भी तीन विकेट पर 89 रन था लेकिन मोर्गन ने 92 रन की बेहतरीन पारी खेली। उनके अलावा जेम्स टेलर (41), बेन स्टोक्स (41), जैसन राय (36) और जानी बेयरस्टॉ (31) ने भी उपयोगी योगदान दिया जिससे इंग्लैंड सात विकेट पर 304 रन बनाकर सीरीज में शानदार वापसी करने में सफल रहा।
पैट कमिन्स (49 रन देकर चार विकेट) और मैक्सवेल ने कुछ शानदार कैच लेकर ऑस्ट्रेलिया की उम्मीद बनाये रखी लेकिन मोइन अली (नाबाद 21) और लियाम प्लंकेट (17) की पारियों से इंग्लैंड आखिर में 48 . 2 ओवर में लक्ष्य तक पहुंचने में सफल रहा। डेविड विली (नाबाद 12) ने विजयी छक्का लगाया इंग्लैंड को श्रृंखला में बराबरी दिलायी।
इंग्लैंड की शुरूआत अच्छी नहीं रही और उसने दूसरे ओवर में ही एलेक्स हेल्स (शून्य) का विकेट गंवा दिया। टेलर और राय ने हालांकि इसके बाद दूसरे विकेट के लिये 72 रन की साझेदारी की लेकिन दोनों खिलाड़ी 16 रन के अंदर आउट हो गये। मोर्गन ने यहीं से जिम्मेदारी संभाली।
उन्होंने स्टोक्स के साथ चौथे विकेट के लिये 91 और बेयरस्टॉ के साथ पांचवें विकेट के लिये 58 रन की साझेदारियां की। जब लग रहा था कि वह शतक लगाने में सफल रहेंगे तब कमिन्स की गेंद पर मैक्सवेल ने एक हाथ से उनका खूबसूरत कैच लपककर ऑस्ट्रेलिया को वापसी दिलायी। मोर्गन ने आठ चौके और दो छक्के लगाये।
इससे पहले ऑस्ट्रेलिया जब टॉस जीतकर पहले बल्लेबाजी के लिये उतरा तो बायें हाथ के तेज गेंदबाज डेविड विली (51 रन देकर तीन विकेट) ने इंग्लैंड को शानदार शुरूआत दिलायी। उन्होंने जो बर्न्स (दो), कप्तान स्टीवन स्मिथ (पांच) और एरोन फिंच (15) को पहले नौ ओवरों में पवेलियन भेजकर ऑस्ट्रेलिया का स्कोर तीन विकेट पर 30 रन कर दिया।
यदि इंग्लैंड की फील्डिंग अच्छी रहती और मैक्सवेल के दो कैच नहीं छूटते तो स्थिति और बुरी हो सकती थी। मैक्सवेल ने हालांकि इसका फायदा उठाकर अच्छी पारी खेली। उन्होंने मोइन अली (40 रन देकर दो विकेट) की गेंद पर बोल्ड होने से पहले 64 गेंद की अपनी पारी में दस चौके और दो छक्के लगाये। बेली ने विकेट बचाये रखने को तरजीह दी और सधी हुई पारी खेली। प्लंकेट (47 रन देकर दो विकेट) ने तीन गेंद के अंदर मिशेल मार्श (17) और बेली को आउट करके इंग्लैंड को फिर से वापसी दिलायी।
मोईन ने अपना पहला एकदिवसीय खेल रहे मार्कस स्टोनिस (चार) को आते ही पवेलियन की राह दिखादी जिससे स्कोर चार विकेट पर 210 रन से सात विकेट पर 215 रन हो गया। लेकिन वेड और हेस्टिंग्स ने डेथ ओवरों में तेजी से रन बनाकर आस्ट्रेलिया को ज्यादा नुकसान नहीं पहुंचने दिया। वेड ने अपनी पारी में तीन चौके और इतने ही छक्के लगाये। उन्होंने मार्क वुड के पारी के आखिरी ओवर में दो छक्के और फिर एक रन लेकर एकदिवसीय में अपना सातवां अर्धशतक पूरा किया। हेस्टिंग्स ने भी 26 गेंदों का सामना किया और तीन चौके और दो छक्के लगाये।