खण्डवा। मध्यप्रदेश शासन द्वारा सिनेमा की बहुआयामी विधाओं के लिए स्थापित राष्ट्रीय किशोर कुमार सम्मान वर्ष 2013-14 में निर्देशन के लिए विख्यात फिल्मकार सई परांजपे को प्रदान किया गया।
मंगलवार देर शाम खण्डवा के पुलिस परेड ग्राउण्ड में सम्पन्न अलंकरण समारोह में क्षेत्रीय सासंद नंदकुमार सिंह चौहान के मुख्य अतिथ्य, प्रदेश के खाद्य एवं नागरिक आपूर्ति मंत्री कुंवर विजय शाह के विषिष्ट अतिथ्य तथा मध्य प्रदेश शासन के संस्कृति एवं पर्यटन विभाग राज्यमंत्री सुरेन्द्र पटवा की अध्यक्षता में आयोजित कार्यक्रम में कथाकार एवं फिल्म निर्देशक परांजपे को यह सम्मान प्रदान किया।
इस अवसर पर सम्मान स्वरूप सुश्री परांजपे को 2 लाख रूपये का चेक सम्मान पट्टिका प्रदान की गई तथा अतिथियों ने शॉल व श्रीफल प्रदान कर उनका सम्मान किया। इस अवसर पर खण्डवा महापौर सुभाष कोठारी, खण्डवा विधायक देवेन्द्र वर्मा, मांधाता विधायक लोकेन्द्र सिंह तोमर, पंधाना विधायक योगिता बोरकर भी उपस्थित थी।
कार्यक्रम में प्रमुख सचिव संस्कृति विभाग मनोज श्रीवास्तव ने सुश्री परांजपे के सम्मान में प्रशस्ती वाचन किया तथा उनके द्वारा तैयार फिल्मों, धारावाहिकों के बारे में विस्तार से जानकारी दी। इस अवसर पर बताया गया कि उनकी फिल्म स्पर्ष को तीन राष्ट्रीय पुरूस्कार प्राप्त हुए। उन्हें वर्ष 2006 में पदभूषण से सम्मानित किया जा चुका है। इससे पूर्व कलेक्टर डॉ. एम.क.ेअग्रवाल ने कार्यक्रम में स्वागत उद्बोधन दिया।
रांजपे ने सम्मान प्राप्त करने के बाद संबोधित करते हुए स्वर्गीय किषोर कुमार से जुड़ी यादों को साझा किया तथा बताया कि वे किस तरह किशोर कुमार से हमेशा प्रभावित रही। कार्यक्रम में परांजपे से जुड़ी फिल्मों के प्रमुख दृष्यों के आधार पर तैयार कर्टेन रेजर प्रस्तुत किया गया। कार्यक्रम में फिल्म समीक्षक खालिद मोहम्मद व संस्कृति विभाग के उपसंचालक वंदना पाण्डे भी उपस्थित थी।
उल्लेखनीय है कि सुश्री परांजपे इस सम्मान को पाने वाली 17वीं कलाकार है। इस कार्यक्रम में जानीमानी पार्श्व गायिका साधना सरगम, किशोर कुमार के सुपुत्र एवं गायक सुमित कुमार तथा रवि त्रिपाठी द्वारा गीत संगीतमयी प्रस्तुति दी गई। सुश्री परांजपे की प्रतिष्ठा एक उत्कृष्ट, कल्पनाशील और गहन दृष्टिसम्पन्न फिल्मकार निर्देशक के रूप में है जिनका सृजनात्मक सरोकार राष्ट्रीय नाट्य विद्यालय में एक रंगकर्मी से आरम्भ होकर टेलीविजन धारावाहिकों और सिनेमा तक सक्रिय बना रहा है। उनकी फिल्में जादू का शंख, स्पर्श, चश्मे बद्दूर, कथा, दिशा, पपीहा, साज, भागो भूत, चकाचक, सुई, अंगूठा छाप, चूड़ियाँ भारतीय जनमानस में अलग-अलग कालखण्ड में अनेक मर्मस्पर्शी स्मृतियों के साथ अंकित हैं।
उल्लेखनीय है कि प्रदेश सरकार द्वारा स्थापित राष्ट्रीय किशोर कुमार सम्मान प्रतिवर्ष सिनेमा के क्षेत्र में निर्देशन अभिनय पटकथा तथा गीत लेखन के लिए ख्याति प्राप्त उत्कृष्ट कलाकार को दिया जाता है। सम्मान के अंतर्गत 2 लाख रूपये की राषि एवं सम्मान पट्टिका भेट की जाती है। यहा उल्लेखनीय है कि वर्ष 1997-98 के लिए पहली बार यह सम्मान निर्देशन के क्षेत्र में ऋषिकेश मुखर्जी को प्रदान किया गया था। इसके बाद वर्ष 1998-99 के लिए यह सम्मान अभिनय के क्षेत्र में नसीरूद्दीन शाह को प्रदान किया गया था।
वर्ष 1999-2000 के लिए यह सम्मान पटकथा के क्षेत्र में गुलजार को प्रदान किया गया था। वर्ष 2000-01 के लिए यह सम्मान गीत लेखन के क्षेत्र में श्री कैफी आजमी को प्रदान किया गया था। वर्ष 2001-02 के लिए यह सम्मान निर्देशन के क्षेत्र में बी.आर.चोपड़ा को प्रदान किया गया था। वर्ष 2002-03 के लिए यह सम्मान अभिनय के क्षेत्र में अमिताभ बच्चन को प्रदान किया गया था। वर्ष 2003-04 के लिए यह सम्मान पटकथा के क्षेत्र में गोविंद निहलानी को प्रदान किया गया था। वर्ष 2004-05 के लिए यह सम्मान गीत लेखन के क्षेत्र में जावेद अख्तर को प्रदान किया गया था।
वर्ष 2005-06 के लिए यह सम्मान निर्देशन के क्षेत्र में श्याम बेनेगल को प्रदान किया गया था। वर्ष 2006-07 के लिए यह सम्मान अभिनय के क्षेत्र में शत्रुघन सिन्हा को प्रदान किया गया था। वर्ष 2007-08 के लिए यह सम्मान पटकथा के क्षेत्र में मनोज कुमार को प्रदान किया गया था। वर्ष 2008-09 के लिए यह सम्मान गीत लेखन के क्षेत्र में गुलशन बावरा को प्रदान किया गया था। वर्ष 2009-10 के लिए यह सम्मान निर्देशन के क्षेत्र में यश चौपड़ा को प्रदान किया गया था। वर्ष 2010-11 के लिए यह सम्मान अभिनय के क्षेत्र में देव आनन्द को प्रदान किया गया था। वर्ष 2011-12 के लिए यह सम्मान पटकथा के क्षेत्र में सलीम खान को प्रदान किया गया था। वर्ष 2012-13 के लिए यह सम्मान गीत लेखन के क्षेत्र में समीर को प्रदान किया गया था।