अजमेर। अजमेर जिला प्रशासन, नगर निगम एवं विभिन्न संगठनों द्वारा इस वर्ष अनंत चतुर्थी पर गणेश मूर्ति विसर्जन के लिए विशेष व्यवस्थाएं की जाएंगी।
शहर में तीन स्थानों पर मूर्ति विसर्जन के लिए कुण्ड बनेंगे, यहां तक मूर्तियों को पहुंचाने के लिए यातायात की भी विशेष व्यवस्था रहेगी। शहर में प्लास्टर ऑफ पेरिस की नई मूर्तियां अब नहीं बनेंगी।
पूर्व में बेची जा चुकी एवं बेचने के लिए तैयार की जा चुकी प्लास्टर ऑफ पेरिस की मूर्तियों का उपयोग एवं विक्रय किया जा सकता है। गणेश पूजा के लिए मिट्टी और गोबर से बनी मूर्तियों के उपयोग को बढ़ावा दिया जाएगा।
नगर निगम द्वारा तैयार किए गए कुण्ड में सिर्फ मिट्टी व गोबर से तैयार मूर्तियां ही विसर्जित होंगी। प्लास्टर ऑफ पेरिस से निर्मित मूर्तियों को गंगाजल एवं तीर्थराज पुष्कर के जल के छींटे देकर अलग रखा जाएगा। इनके निस्तारण का उचित समाधान भी निगम द्वारा किया जाएगा।
नगर निगम गणेश चतुर्थी पर शहर के सभी चौराहों पर विशेष सजावट कर रोशनी की जाएगी। गणेश चतुर्थी पर गणेश जी की मूर्ति स्थापना एवं अनंत चतुर्दशी पर गणेश मूर्ति विसर्जन से संबंधित बैठक आज जिला कलक्टर गौरव गोयल एवं महापौर धर्मेन्द्र गहलोत की अगुवाई में सम्पन्न हुई।
बैठक में विभिन्न संगठनों से चर्चा के पश्चात गणेश चतुर्थी एवं अनंत चतुर्दशी के पर्व पर विशेष व्यवस्थाएं करने का निर्णय किया गया। जिला कलक्टर गोयल ने बताया कि गणेश चतुर्थी पर ज्यादा से ज्यादा मिट्टी व गोबर से बनी मूर्तियों का उपयोग करने के लिए लोगों को जागरूक किया जाएगा।
उन्होंने अपील की की पर्यावरण की सुरक्षा के लिए सभी मिट्टी व गोबर से बनी मूर्तियों का अधिक से अधिक उपयोग करें। शहर में अब नई प्लास्टर ऑफ पेरिस की मूर्तियों का निर्माण नहीं किया जा सकता।
उन्होंने बताया कि जिला प्रशासन एवं नगर निगम द्वारा अनंत चुर्दशी पर गणेश प्रतिमाओं के विसर्जन के लिए विशेष व्यवस्था की जा रही है। निगम द्वारा शहर में तीन स्थानों पर प्रतिमा विसर्जन की व्यवस्था की जा रही है।
सुभाष उद्यान स्थित कुण्ड के अलावा दो अन्य कुण्डों के लिए स्थान शीघ्र ही चयनित कर लिए जाएंगे। इस बार अनंत चतुर्दशी पर यातायात की भी विशेष व्यवस्था रहेगी। प्रतिमा विसर्जन स्थलों पर ट्रक, टेक्ट्रर व अन्य बड़े वाहनों का प्रवेश पूरी तरह वर्जित रहेगा।
श्रद्धालु टेम्पों व अन्य छोटे वाहनों से ही मूर्तियां कुण्ड तक ला सकेंगे। कुण्ड पर मूर्ति विसर्जन के लिए भी विशेष व्यवस्था की जा रही है। कुण्ड में मिट्टी व गोबर से बनी मूर्तिया ही विसर्जित की जाएंगी।
प्लास्टर ऑफ पेरिस से बनी मूर्तियां यदि कुण्ड तक आती भी है तो गंगाजल व तीर्थराज पुष्कर के जल से छींटे देकर नगर निगम द्वारा निस्तारण किया जाएगा।