देहरादून। पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत की लोकतंत्र बचाओ यात्रा स्वयं पर लगे दागों को मिटाने का प्रयास है।
विधायकों को सरेआम खरीदने का वीडियो जिसमें करोड़ों रूपए की लेनदेन की बात की जा रही है और यह कहा जा रहा है कि मंत्री विभागों से कमा ले मैं आंख बंद कर लूंगा। ऐसे जुमलों के सरेआम होने के बाद हरीश रावत किस अधिकार से लोक तंत्र बचाओं यात्रा कर रहे हैं। यह अपने आप में हास्यास्पद ही नहीं लोकतंत्र मिटाओ की जबरदस्त पहल है।
पूर्व मुख्यमंत्री द्वारा की जा रही इस पहल का जवाब उन्हें उनके विधायकों ने दे दिया है पर अब उन्हें जनता इस मामले में जवाब देगी। भारतीय जनता पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष एवं नेता प्रतिपक्ष अजय भट्ट ने यह बातें भारतीय जनता पार्टी महानगर कार्यालय में पत्रकारों से बातचीत के दौरान कही।
भट्ट ने पूर्व मुख्यमंत्री और विधानसभा अध्यक्ष को लोकतंत्र का धुरविरोधी बताया तथा कहा कि 18 मार्च को दोनों ने मिलकर लोकतंत्र की हत्या की है किस मुंह से जनता के बीच जा रहे हैं। पत्रकार वार्ता में भाजपा महानगर अध्यक्ष उमेश अग्रवाल, वरिष्ठ नेता पी.के. अग्रवाल, विधायक पुष्कर सिंह धामी, बलजीत सोनी, डा. देवेन्द्र भसीन समेत तमाम प्रमुख नेता उपस्थित थे।
भट्ट ने कहा कि मुख्यमंत्री के स्टिंग ऑपरेशन से देवभूमि की साख पूरी दुनिया में खराब हुई है जिसकी भरपाई नहीं की जा सकती है। इसके पहले उनके सचिव मौहम्मद शाहिद ने आबकारी प्रकरण में बीस करोड़ की घूस मांगकर प्रदेश को बदनाम किया था और उसके बाद हरीश रावत ने रही-सही कसर पूरी कर दी।
नेताप्रतिपक्ष ने साफ कहा कि सदन के भीतर मत विभाजन की मांग करना प्रत्येक सदस्य का अधिकार है। बीते 18 मार्च को राज्यपाल को लिखित पत्र देकर विधानसभा अध्यक्ष को निर्देशित करने का आग्रह किया गया। जबकि विनियोग विधेयक से घंटों पहले विधानसभा अध्यक्ष को लिखित पत्र दिया गया, लेकिन विधानसभा अध्यक्ष द्वारा सरकार के इशारे पर बिना वोटिंग के विनियोग विधेयक पास कराने का प्रयास करना लोकतंत्र की हत्या नहीं तो क्या है।
उन्होंने कहा कि इससे पहले हमने मत विभाजन की लिखित मांग की थी उसे नहीं माना गया उन्होंने साफ कहा कि लोकतंत्र और संविधान को तार-तार करने का कार्य यदि किसी ने किया है तो कांग्रेस ने किया। भाजपा विधायण गणेश जोशी को बिना किसी दोष साबित हुए अपराधी की तरह मत विभाजन के दिन जेल भेज दिया।
इससे पूर्व हमारे विधायक अरविंद पाण्डे, पूरन सिंह फत्र्याल, राजकुमार ठुकराल को बिना किसी दोष साबित हुए जेल में ठंूस दिया था, तब हरीश रावत को लोकतंत्र का ख्याल क्यों नहीं आया। श्री भट्ट ने कहा कि लोकतंत्र की हत्या करने वाले आज लोकतंत्र बचाने की बात कहने जनता के बीच जा रहे हैं, जो जनता को बरगलाने के अलावा कुछ नहीं है। शायद उन्हें ज्ञान नहीं के प्रदेश की जनता प्रबुद्ध है। वह आज उनकी नौटंकी पूरी तरह से समझ चुकी है।
नेता प्रतिपक्ष अजय भट्ट ने कहा कि लोकतंत्र बचाने की बात कह रहे हैं वे लोग जिन पर पूर्व में खनन माफिया, शराब माफिया, भूमाफिया के ईशारे पर नाचने का आरोप लगे ही नहीं बल्कि पूरे प्रदेश के सामने सिद्धि हो चुका है क्योंकि राष्ट्रपति शासन लगने के बाद अकेले नैनीताल जनपद से अवैध खनन और अवैध स्टोर क्रशर से आज तक बत्तीस करोड़ के जुर्माने अकेले खनन माफियाओं पर लगाए गए हैं। यह राशि हम सबके खजाने में आई है, जबकि इससे पूर्व ये प्रतिदिन करोड़ों के हिसाब से तस्करों व पूर्व सरकार के चहेतों के लोगों की जेब में जाती है।
उन्होंने पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत की लोकतंत्र बचाओ यात्रा का जवाब ईंट का जवाब पत्थर से देगी। उन्होंने कहा कि हम सब उत्तराखंड बचाओ यात्रा निकालकर पूरे प्रदेश की जनता के सामने कांग्रेस और उनकी सरकार के कारनामे उजागर करेंगे। जिससे प्रदेश की जनता को असलियत बतायी जाएगी। क्यों खाओ भी और गुरराओ भी व उल्टा चोर कोतवाल को डॉटे जैसी कहावत हम देवभूमि में नहीं होने देंगे।