

इटानगर। भारत-चीन अंतर्राष्ट्रीय सीमा के निकट अरुणाचल प्रदेश के वेस्ट सियांग जिले के मेचुका के एडवांस लैंडिंग ग्राउंड (एएलजी) पर पहली बार बुधवार को भारतीय वायु सेना ने अपने भारी-भरकम जहाज सी-17 ग्लोब मास्टर की सुरक्षित लैंडिग करवाई।
इस हवाई अड्डे का सामरिक दृष्टि से काफी महत्व है। इससे पहले हाल ही में भारतीय वायु सेना ने सी-130 जे सुपर हार्कुलिस विमान को भी इसी हवाई पट्टी पर सुरक्षित लैंडिंग कराया था।
हालांकि इस लैंडिंग ग्राउंड का रनवे आम हवाई अड्डे से थोड़ा छोटा है। यहां पर भारी-भरकम विमानों की लैंडिंग कराना किसी चुनौती से कम नहीं है। बावजूद इसके भारतीय वायु सेना ने दोनों बार बड़े जहाजों को यहां पर उतार कर अपनी क्षमता का परिचय दिया है।
सूत्रों के अनुसार क्षेत्र में सुरक्षा बलों को सीधे अग्रिम चौकियों तक पहुंचाने, सामान लाने-ले जाने की दृष्टि से मेचुका के एडवांस लैंडिंग ग्राउंड का काफी महत्व है। इसके खुल जाने से सेना की यातायात व्यवस्था काफी सुगम हो जाएगी।
साथ ही सेना के जवानों के लिए सभी स्थितियों में अति आवश्यक सामानों की पहुंच आसान हो जाएगी। उल्लेखनीय है कि चीन से लगने वाली इस अंतर्राष्ट्रीय सीमा का देश की सुरक्षा की दृष्टि से विशेष महत्व है।