द हेग। भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने मंगलवार को यहां कहा कि कई वैश्विक मुद्दों पर भारत तथा नीदरलैंड्स की सोच समान है। वहीं डच प्रधानमंत्री मार्क रुट ने रानजीतिक तथा आर्थिक दृष्टिकोण से भारत के उभरने की सराहना की और इसे स्वागत योग्य घटनाक्रम करार दिया।
नीदरलैंड्स के प्रधानमंत्री मार्क रुट के साथ यहां जारी एक संयुक्त बयान में मोदी ने कहा कि आज की तारीख में दुनिया एक-दूसरे पर निर्भर तथा एक-दूसरे से जुड़ी हुई है। यह स्वाभाविक है कि हम न केवल द्विपक्षीय मुद्दों, बल्कि कई वैश्विक मुद्दों पर भी चर्चा करेंगे।
साल 2017 को दोनों देशों के बीच कूटनीतिक संबंधों की 70वीं वर्षगांठ का उल्लेख करते हुए मोदी ने नीदरलैंड्स में भारतीय प्रवासियों के माध्यम से जनता के बीच संबंधों को मजबूत करने पर जोर दिया।
उन्होंने कहा कि भारतीय प्रवासी दोनों देशों के लोगों के बीच संपर्क का माध्यम व सेतु हैं। मोदी ने कहा कि पिछले तीन वर्षो के दौरान, नीदरलैंड्स तीसरे सबसे बड़े प्रत्यक्ष विदेशी निवेशकर्ता के रूप में उभरा है। यह आर्थिक विकास के लिए हमारी जरूरतों तथा प्राथमिकताओं का एक स्वाभाविक भागीदार है।
उन्होंने उम्मीद जताई कि नीदरलैंड्स के मुख्य कार्यकारी अधिकारियों (सीईओ) का भारत के बारे में सकारात्मक रुख बरकरार रहेगा। मोदी ने कहा कि वह नीदरलैंड्स के राजा तथा रानी से मुलाकात को उत्सुक हैं।
उन्होंने पिछले साल भारत को मिसाइल टेक्नोलॉजी कंट्रोल रिजाइम की सदस्यता दिलाने को लेकर नीदरलैंड्स के सहयोग के लिए रुट का शुक्रिया अदा किया।
वहीं, अपनी तरफ से रुट ने कहा कि नीदरलैंड्स तथा भारत व्यापार, जल प्रबंधन, कृषि, लॉजिस्टिक, नवाचार तथा विज्ञान सहित कई क्षेत्रों में साथ मिलकर काम कर रहे हैं।
उन्होंने कहा कि भारत का उभरना राजनीतिक तथा आर्थिक दोनों ही दृष्टिकोण से एक स्वागयोग्य घटनाक्रम है।
डच प्रधानमंत्री ने कहा कि राजनीतिक, क्योंकि कानून का शासन, शांति, सुरक्षा के साथ ही अन्य मुद्दों जैसे जलवायु परिवर्तन पर हम समान मूल्यों को साझा करते हैं। मैं नवीकरणीय ऊर्जा तथा पेरिस जलवायु समझौते के प्रति अपनी प्रतिबद्धता दोहराता हूं।
मोदी की स्वच्छ भारत तथा मेक इन इंडिया जैसे पहलों का हवाला देते हुए रुट ने कहा कि भारत अपने उद्देश्य को किस प्रकार पा सकता है, इसके लिए नीदरलैंड्स एक अहम भागीदार है।
उन्होंने कहा कि जब अर्थव्यवस्था की बात आती है, तो भारत का विकास दोनों देशों के लिए व्यापार व निवेश के दरवाजे खोल रहा है।
रुट ने कहा कि अब भारत एक वैश्विक आर्थिक शक्ति बन चुका है। यह दुनिया की 12वीं सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था है और आबादी 1.2 अरब है।