पटना। पूर्व मुख्यमंत्री और हिन्दुस्तानी आवाम मोर्चा (हम) के नेता जीतन राम मांझी ने सोमवार को घोषणा की कि आगामी विधानसभाद चुनाव तक उनका मोर्चा अकेले चलेगा। चुनाव के बाद स्थिति के अनुसार कोई फैसला लिया जाएगा।
इस अवसर पर उन्होंने अधिकारियों और मीडिया को भी निशाने पर लिया और कहा कि ये लोग नीतीश कुमार की चमचागिरी कर रहे हैं। मांझी गांधी मैदान में गरीब स्वाभिमान रैली को संबोधित करते हुए कहा कि दलितों और कमजोर वर्ग के लोगों की शक्ति को कम नहीं आंके।
उन्होंने कहा कि इनमें इतनी शक्ति है कि वे किसी भी सरकार को बना या बिगाड़ सकते हैं। नीतीश सरकार के तंत्र द्वारा उनके रैली को विफल करने की कोशिश की गई, लेकिन गांवों के घरों से निकले लोगों के हुजुम ने उनकी शक्ति को रौंदकर गांधी मैदान पहुंच गए।
मांझी ने कहा कि जब-जब दमनात्मक कार्रवाई होती है, तब-तब लोगों का जोश बढता है। पूर्व मुख्यमंत्री मांझी ने अधिकारियों को हड़काते हुए कहा कि सबदिन नीतीश की सरकार नहीं चलेगी। अगली सरकार उनकी आएगी, तो ऐसे अधिकारियों की वे खबर लेंगे।
उन्होंने मीडियावालों पर भी बरसते हुए कहा कि वे सिर्फ नीतीश कुमार की खबर दिखाते हैं। इसके पीछे उनका स्वार्थ पैसा है, लेकिन मेरे पास पैसा नहीं, जनता की शक्ति है। मांझी ने कहा कि पूर्व में उनके द्वारा लिए गए 34 निर्णयों को रद्द कर नीतीश ने उन्हें बदनाम करने की कोशिश की, लेकिन धीरे-धीरे उसी को लागू कर रहे हैं।
हमारे विधायकों को परेशान किया जा रहा है। विधायकों को मकान छोड़ने के लिए नोटिस दिये जा रहे हैं। नीतीश चापलूसों को खुली छूट दे रहे हैं।मांझी ने कहा कि चुनाव तक वे अकेले लडेंगे। विधानसभा के चुनाव में किसी दल से गठबंधन नहीं करेंगे। परिणाम आने के बाद स्थिति की समीक्षा करेंगे और उसी के अनुरूप निर्णय लिया जाएगा।
उन्होंने रैली में आने वाले लोगों के प्रति कृतज्ञता व्यक्त करते हुए कहा कि आने वाली सरकार आपके के ही दम पर बनेगी। उन्होंने राज्य सरकार पर आरोप लगाया कि रैली में आने वालों को रोकने के लिए गांधी सेतु को जाम कर दिया गया, ट्रेनों को रोक दिया गया, फिर भी गरीब गुरबा अपने हक की लड़ाई के लिए यहां आए।
इस मौके पर पूर्व मंत्री नीतीश मिश्रा ने कहा कि 50 हजार से अधिक लोगों को हाजीपुर में रोक लिया गया है। पूर्व मंत्री महाचंन्द्र सिंह ने कहा कि जितने लोग आए हैं, वो एक-एक लोग हजार के बराबर हैं। हम के संयोजक वृषण पटेल ने कहा कि हम पांच लाख की भीड़ तो नहीं ला पाये, लेकिन जितनी भीड़ आयी है वो लाखों के बराबर है। रैली को हम के सभी बडे नेताओं ने संबोधित किया।