नई दिल्ली। दिल्ली के पटियाला हाउस कोर्ट में दो दिन पहले कन्हैया कुमार की पेशी के दौरान हुई पिटाई के बाद की मेडिकल रिपोर्ट सामने आई है जिसमें मारपीट का संदेह जाहिर किया गया है। उधर, देशद्रोह के आरोप में जेएनयू छात्र संघ के अध्यक्ष कन्हैया कुमार की जमानत अर्जी पर सुप्रीम कोर्ट ने सुनवाई करने से इंकार कर दिया है।
रिपोर्ट के मुताबिक कन्हैया के साथ मारपीट हुई है। उसके दाएं अंगूठे में दर्द है और बाएं पैर और नाक पर भी खरोंच के निशान मिले हैं। इसके अलावा शरीर के बाहरी हिस्से में कोई चोट नहीं मिली। हालांकि कन्हैया ने सीने में दर्द होने की शिकायत भी की थी।
कन्हैया कुमार की ओर से याचिका दाखिल करने वाली अधिवक्ता वृंदा ग्रोवर ने याचिका में कहा है कि पटियाला हाउस कोर्ट परिसर में वकीलों के एक समूह ने कन्हैया पर कथित रूप से हमला किया था। वहां का माहौल जमानत याचिका पेश करने के लिए उचित नहीं है।
यानी कि पटियाला हाउस अदालत परिसर में हुई हिंसा को आधार बनाकर कन्हैया के वकीलों ने सुरक्षा का मुद्दा उठाते हुए कहा कि ट्रायल कोर्ट में कन्हैया और वकील की हिफाजत नहीं की जा सकती।
इस पर सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि वहां इतने हालात इतने ख़राब नहीं है कि जमानत याचिका पर सीधे उच्चतम न्यायालय में सुनवाई की जाए। सुप्रीम कोर्ट ने कन्हैया के वकीलों की दलील ठुकराते हुए जमानत अर्जी पर सुनवाई करने से इंकार कर दिया।
उधर, दिल्ली पुलिस ने कोर्ट में साफ किया कि उन्हें अब कन्हैया कुमार के रिमांड की जरूरत नहीं है। दिल्ली पुलिस ने इस मामले में अपनी रिपोर्ट सुप्रीम कोर्ट के सामने पेश की। कन्हैया की तरफ से राजू रामचंद्रन ने दलीलें पेश कीं। उन्होंने कहा कि पटियाला हाउस कोर्ट में खतरा है।
इसलिए हम सीधे सुप्रीम कोर्ट आए हैं। इस पर सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि आप हाईकोर्ट या निचली अदालत में जाएं। कोर्ट ने कहा कि अगर हम इसी तरह से जमानत की सुनवाई करते रहे तो दिक्कत हो जाएगी।