जोधपुर। फर्जी कस्टम अधिकारी बनकर किराणा व्यवसायी से दो लाख रुपए ठगने की आरोपी बर्खास्त महिला कांस्टेबल को रिमाण्ड अवधि खत्म होने पर कोर्ट ने जेल भेजने के आदेश दिए है।
हालांकि तबीयत खराब होने पर वह मथुरादास माथुर अस्पताल में भर्ती है।
अस्पताल से अवकाश मिलते ही उसे जेल भेज दिया जाएगा। वह सीआईडी की बर्खास्त कांस्टेबल है। नागौरी गेट पुलिस के अनुसार मूलत: भीतरी शहर हाल ज्योति नगर चानणा भाखर निवासी मंजू व्यास उर्फ मंजूनाथ (50) पुत्री सोमनाथ को ठगी के आरोप में गिरफ्तार किया गया था।
उसके खिलाफ राममोहल्ला निवासी किराणा व्यवसायी मांगीलाल ने गत मार्च में धोखाधड़ी का मामला दर्ज करवाया था। उसका आरोप है कि गत वर्ष दिसम्बर में मंजू उसकी दुकान पर आई व बेटी की शादी के चलते किराणे का सामान खरीदने के बारे में बात की।
उसने खुद को कस्टम अधिकारी बताते हुए कहा कि कस्टम में बड़ी मात्रा में सोना सीज है जिसकी नीलामी होनी है। वह उसे नीलामी में सस्ती दर पर सोना दिलवा देगी। बदले में उसने उससे दो लाख रुपए ले लिए लेकिन न तो नीलामी हुई और न ही राशि लौटाई।
तकाजा करने पर आरोपी ने उसे एक चेक दिया। जो खाते में राशि न होने तथा हस्ताक्षर सही नहीं होने पर अनादरित हो गया। पुलिस ने धोखाधड़ी का मामला दर्ज कर जांच के बाद आरोपी मंजू व्यास को गिरफ्तार किया था।
पुलिस ने उसे दो दिन के रिमाण्ड पर लिया था। रिमाण्ड अवधि के दौरान शनिवार दोपहर में उसकी तबीयत खराब हो गई। इस पर उसे एमडीएम अस्पताल ले जाया गया जहां उपचार के बाद उसे भर्ती किया गया।
रविवार को रिमाण्ड अवधि खत्म होने पर उसे वापस अदालत में पेश किया गया जहां से उसे जेल भेजने के आदेश हुए लेकिन तबीयत खराब होने पर उसे चालानी गार्ड की निगरानी में वापस अस्पताल में भर्ती करवाया गया है।