पति_पत्नि दोनों खाना खा रहे थे ।
खाना खा के पति उठा और अपनी थाली धो दी।
………….
पत्नीे उसकी तरफ गुस्से से देखते हुए बोली —
…….”कर दिया ना इज़्ज़त का फालूदा….
….हम घर पर नहीं .. होटल में है ।
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इतवारी ज्ञान
शायरी न मरती है और ना ही डिलीट होती है,
ये सिर्फ पहली वाली गर्लफ्रेंड से दूसरी वाली में शिफ्ट हो जाती है
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न जाने कौन सा अमृत पी के पैदा हुई हैं ये “मोहब्बत”…..??
मर गए कितने हीर और रांझे
मगर आज तक जिन्दा है ये “मोहब्बत”…
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ज़िन्दगी में जितना
एंजोय का ग्राफ़
बढ़ाओगे..
एंजोग्राफ़ी से उतना
दूर रहोगे..