पुरी/अहमदाबाद/नई दिल्ली। ओडिशा के पुरी में भगवान श्री जगन्नाथ की रथ यात्रा आज हो रही है। इस शताब्दी में पहली नब कलेबर रथ यात्रा में शामिल होने के लिए बड़ी संख्या में श्रद्धालु पुरी पहुंचे हैं।
नौ दिनों तक चलने वाली इस यात्रा और उसके बाद होने वाले स्वर्ण वेश के लिए राज्य सरकार ने व्यापक प्रबंध किए हैं। निशुल्क बस सेवा और विशेष रेलगाडियां चलाई जा रही हैं। ओडिशा के मुख्यमंत्री नवीन पटनायक ने महोत्सव की व्यवस्था के निरीक्षण के लिए अपने चार मंत्रियों और कई अधिकारियों को तैनात किया है।
पुरी में भगवान जगन्नाथ मंदिर में आज भोर की पहली किरण के साथ नवकलेवर रथयात्रा उत्सव की रस्में शुरु हो गईं । पारंपरिक श्रद्धा के साथ पूजा-अर्चना के बाद श्री सुदर्शन भगवान, बलभद्र, देवी सुभद्रा और श्री जगन्नाथ के विग्रह मंदिर के सामने बड़ा डांडा पर सजे धजे-रथों पर आरुढ़ होंगे।
रथ यात्रा का आनंद लेने उमड़ा अपार जन समुदाय तीसरे पहर इन रथों को श्री मंदिर से खींचकर गुंडिच्चा मंदिर तक पहुंचाने के लिए उत्सुक है । नौ दिन तक गुंडिच्चा मंदिर में विश्राम के बाद भगवान जगन्नाथ, देवी सुभद्रा और भगवान बलभद्र के साथ इन्हीं रथों में वापस आयेंगे ।
प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने इस अवसर पर कल जगन्नाथ मंदिर में एक पत्र और मूंग, जामुन तथा आम का प्रसाद भेजा है । नबकलेबर यात्रा उत्सव 27 जुलाई को सम्पन्न होगा। प्रधानमंत्री ने इस अवसर पर लोगों को बधाई भी दी है।
गुजरात में अहमदाबाद में भी रथ यात्रा का भव्य आयोजन हो रहा है। भगवान जगन्नाथ जी की रथ यात्रा में सजाये हुए 18 हाथी, 101 ट्रक. 30 धार्मिक अखाड़े, 18 भजन मंडलियां तीनों रथ के साथ-साथ चलेंगे।
रथ यात्रा अहमादाबाद शहर के जमालपुर, कालुपुर, देलही चकला, दरियापुर और शाहपुर जैसे संवेदनशील क्षेत्रों से निकलती हुई देर शाम मंदिर वापस लौटेगी। भगवान जगन्नाथ जी की रथयात्रा के मार्ग में आने वाली जमालपुर की तीन मस्जिदों में ईद की नमाज का समय एक घंटे पहले कर दिया गया है जिससे रथ यात्रा के मार्ग में कोई रूकावट न हो ।